अहमदाबाद विमान दुर्घटना: एकमात्र जीवित बचे यात्री की कहानी

अहमदाबाद में एयर इंडिया की फ्लाइट AI-171 के दुर्घटनाग्रस्त होने से 241 लोगों की जान चली गई, जबकि एकमात्र जीवित बचे यात्री रमेश विश्वेश कुमार हैं। इस हादसे के बाद रमेश ने अपने अनुभव साझा किए, जिसमें उन्होंने बताया कि कैसे उन्होंने अपनी जान बचाई। परिवार में मातम का माहौल है, खासकर रमेश के भाई के लापता होने के कारण। जांच एजेंसियां अब इस हादसे के कारणों का पता लगाने के लिए ब्लैक बॉक्स की तलाश कर रही हैं।
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अहमदाबाद विमान दुर्घटना: एकमात्र जीवित बचे यात्री की कहानी

अहमदाबाद में एयर इंडिया की फ्लाइट का हादसा

अहमदाबाद विमान दुर्घटना: एयर इंडिया की लंदन जाने वाली फ्लाइट AI-171 गुरुवार को अहमदाबाद से उड़ान भरने के कुछ ही मिनटों बाद दुर्घटनाग्रस्त हो गई। इस भयानक घटना में कुल 242 यात्रियों में से 241 की जान चली गई।


इस हादसे में एकमात्र जीवित बचे यात्री, ब्रिटिश नागरिक रमेश विश्वेश कुमार (40), गंभीर स्थिति में अस्पताल में भर्ती हैं। एयर इंडिया ने एक आधिकारिक बयान में कहा, "हमें दुख के साथ सूचित करना पड़ रहा है कि विमान में सवार 242 लोगों में से 241 की मौत की पुष्टि हो चुकी है। एकमात्र जीवित बचे यात्री का इलाज चल रहा है।"


पुलिस के अनुसार, रमेश विमान के इमरजेंसी एक्जिट के पास सीट 11A पर बैठे थे। विमान के दुर्घटनाग्रस्त होने के बाद उन्होंने छलांग लगाकर अपनी जान बचाई। पुलिस अधिकारी विधि चौधरी ने बताया कि आपातकालीन दरवाजे के पास बैठने के कारण रमेश को बाहर निकलने का अवसर मिला, जो उनकी जान बचाने में महत्वपूर्ण साबित हुआ।


रमेश का अनुभव और परिवार की चिंता

चारों ओर लाशें थीं, मैं डर गया


अस्पताल में मीडिया से बात करते हुए रमेश ने कहा, "जब मैं उठा तो मेरे चारों ओर लाशें थीं। मैं बहुत डर गया था। मैंने खड़ा होकर भागने की कोशिश की। विमान के टुकड़े हर जगह बिखरे हुए थे। किसी ने मेरी मदद की और मुझे एंबुलेंस में ले गया।" एक वायरल वीडियो में रमेश खून से सने सफेद टी-शर्ट में लंगड़ाते हुए सड़क पर चलते हुए दिखाई दे रहे हैं।


परिवार में मातम, भाई का अभी तक कोई पता नहीं


रमेश अपने भाई अजय के साथ भारत में अपने परिवार से मिलने आए थे। दोनों भाई लंदन लौटने की तैयारी कर रहे थे जब यह हादसा हुआ। रमेश के चचेरे भाई अजय वालगी ने कहा, "रमेश ने सिर्फ इतना कहा कि वह ठीक हैं, लेकिन उनके भाई के बारे में कोई जानकारी नहीं मिली है। पूरा परिवार सदमे में है।" रमेश विवाहित हैं और उनका एक बेटा भी है।


दुर्घटना का समय और स्थान

लंच टाइम में मेडिकल कॉलेज हॉस्टल पर गिरा विमान


यह दुर्घटना उस समय हुई जब विमान दोपहर 1:39 बजे अहमदाबाद से उड़ान भरने के कुछ ही मिनटों बाद अचानक 625 फीट की ऊंचाई पर एक मेडिकल कॉलेज के हॉस्टल पर गिर गया। उस समय छात्र दोपहर का खाना खा रहे थे, जिससे कई लोगों की जान गई। यह हादसा पिछले एक दशक का सबसे भयानक विमान हादसा माना जा रहा है।


जांच प्रक्रिया और ब्लैक बॉक्स

जांच जारी, ब्लैक बॉक्स से खुलेंगे रहस्य


जांच एजेंसियां अब इस हादसे के कारणों का पता लगाने के लिए ब्लैक बॉक्स की खोज और विश्लेषण में जुटी हैं। माना जा रहा है कि ब्लैक बॉक्स से यह स्पष्ट होगा कि यह दुर्घटना तकनीकी खामी, मानव त्रुटि, इंजन फेल या अन्य किसी कारण से हुई। अमेरिका की NTSB और भारत की AAIB संयुक्त रूप से इस मामले की जांच कर रही हैं। यह बोइंग 787 ड्रीमलाइनर का पहला बड़ा घातक हादसा है, इसलिए इसकी जटिलता को देखते हुए जांच में समय लग सकता है।