अर्जुन रणतुंगा की गिरफ्तारी की योजना, भ्रष्टाचार के आरोपों में फंसे

श्रीलंका के पूर्व क्रिकेट कप्तान अर्जुन रणतुंगा को भ्रष्टाचार के आरोपों में गिरफ्तार करने की योजना बनाई जा रही है। उनके भाई धम्मिका को पहले ही गिरफ्तार किया जा चुका है। यह मामला राष्ट्रपति अनुरा कुमारा दिसानायके की सरकार द्वारा चलाए जा रहे भ्रष्टाचार विरोधी अभियान का हिस्सा है। जानें इस मामले की पूरी जानकारी और रणतुंगा बंधुओं के खिलाफ चल रही कार्रवाई के बारे में।
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अर्जुन रणतुंगा की गिरफ्तारी की योजना, भ्रष्टाचार के आरोपों में फंसे

अर्जुन रणतुंगा पर भ्रष्टाचार के आरोप

श्रीलंका के पूर्व विश्व कप विजेता क्रिकेट कप्तान अर्जुन रणतुंगा को गिरफ्तार करने की तैयारी की जा रही है। अधिकारियों ने उन्हें पेट्रोलियम मंत्री के रूप में कार्यकाल के दौरान भ्रष्टाचार के आरोपों में पकड़ने की योजना बनाई है। भ्रष्टाचार निरोधक संस्था के अनुसार, रणतुंगा और उनके भाई पर दीर्घकालिक तेल खरीद अनुबंध में बदलाव करने और अधिक कीमत पर तात्कालिक खरीद करने का आरोप है। आयोग के अनुसार, 2017 में हुए सौदों के कारण राज्य को 800 मिलियन श्रीलंकाई रुपये (लगभग 23.5 करोड़ रुपये) का नुकसान हुआ।


गिरफ्तारी की प्रक्रिया

कोलंबो मजिस्ट्रेट असंगा बोदारगामा ने बताया कि अर्जुन विदेश में हैं और उनकी गिरफ्तारी उनके लौटने पर की जाएगी। उनके बड़े भाई धम्मिका रणतुंगा, जो उस समय सरकारी स्वामित्व वाली सीलोन पेट्रोलियम कॉर्पोरेशन के अध्यक्ष थे, को सोमवार को गिरफ्तार किया गया और बाद में जमानत पर रिहा कर दिया गया। मजिस्ट्रेट ने धम्मिका पर यात्रा प्रतिबंध लगा दिया है, जो श्रीलंका और अमेरिका के दोहरी नागरिकता के धारक हैं।


भ्रष्टाचार के खिलाफ अभियान

अगली सुनवाई 13 मार्च को होगी। 62 वर्षीय बाएं हाथ के बल्लेबाज अर्जुन ने 1996 में ऑस्ट्रेलिया को हराकर विश्व कप जीता था, जो श्रीलंका के लिए एक महत्वपूर्ण उपलब्धि थी। रणतुंगा बंधुओं के खिलाफ यह मामला राष्ट्रपति अनुरा कुमारा दिसानायके की सरकार द्वारा चलाए जा रहे भ्रष्टाचार विरोधी अभियान का हिस्सा है। दिसानायके ने पिछले साल सत्ता में आने के बाद व्यापक भ्रष्टाचार से निपटने का वादा किया था।


अन्य भाई की गिरफ्तारी

रणतुंगा बंधुओं में से एक और भाई, प्रसन्ना, जो पूर्व पर्यटन मंत्री हैं, को पिछले महीने बीमा धोखाधड़ी के मामले में गिरफ्तार किया गया था। यह मामला अभी भी लंबित है, लेकिन जून 2022 में उन्हें एक व्यवसायी से जबरन वसूली के आरोप में दोषी ठहराया गया था, जिसके लिए उन्हें दो साल की निलंबित कारावास की सजा सुनाई गई।