अरशद शेख की प्रेरणादायक कहानी: पैरा साइकिलिंग में गोल्ड मेडल विजेता

अरशद शेख, एक प्रेरणादायक पैरा साइकिलिस्ट, ने हाल ही में पहले नेशनल पैरा साइकिलिंग चैंपियनशिप में गोल्ड मेडल जीता। एक पैर खोने के बावजूद, उन्होंने अपने खेल करियर में कई उपलब्धियां हासिल की हैं। जानें उनकी यात्रा, पेरिस पैरालंपिक में अनुभव और एशियाई ट्रैक चैंपियनशिप में सफलता के बारे में। क्या वह अपने फॉर्म को आगामी इवेंट्स में बनाए रख पाएंगे? पढ़ें पूरी कहानी।
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अरशद शेख की प्रेरणादायक कहानी: पैरा साइकिलिंग में गोल्ड मेडल विजेता

अरशद शेख का अद्भुत सफर

भारत के पैरा साइकिलिस्ट अरशद शेख ने हाल ही में पहले नेशनल पैरा साइकिलिंग चैंपियनशिप में शानदार प्रदर्शन किया है। अरशद के पास एक पैर नहीं है, फिर भी जब वह साइकिल चलाते हैं, तो वह अन्य साइकिलिस्टों को पीछे छोड़ देते हैं। 11 साल पहले एक गंभीर दुर्घटना का सामना करने के बावजूद, उन्होंने हार नहीं मानी और गोल्ड मेडल जीता।


पेरिस पैरालंपिक में अनुभव

अरशद शेख पहले भारतीय पैरा साइकिलिस्ट हैं जिन्होंने पेरिस पैरालंपिक 2024 के लिए क्वालीफाई किया। हालांकि, वह वहां अच्छा प्रदर्शन नहीं कर सके और पुरुष 1000 मीटर टाइम ट्रायल C1-3 इवेंट में 11वां स्थान प्राप्त किया। लेकिन उन्होंने पहले नेशनल पैरा साइकिलिंग चैंपियनशिप में शानदार वापसी करते हुए गोल्ड मेडल जीता।


अरशद शेख की पृष्ठभूमि

अरशद का जन्म आंध्र प्रदेश में हुआ था और वह एक स्टेट लेवल ताइक्वांडो खिलाड़ी रहे हैं। 12 साल की उम्र में एक ऑटो दुर्घटना में उन्होंने अपना बायां पैर खो दिया। इसके बावजूद, उन्होंने पैरा साइकिलिंग में करियर बनाने का निर्णय लिया और हैदराबाद के आदित्य मेहता फाउंडेशन से शुरुआत की।


एशियाई ट्रैक चैंपियनशिप में सफलता

अरशद ने न्यू दिल्ली में आयोजित 2024 एशियाई ट्रैक पैरा साइकिलिंग चैंपियनशिप में चार गोल्ड मेडल जीते। उन्होंने एक किलोमीटर टाइम ट्रायल C2, स्क्रैच C2, व्यक्तिगत परसूट C2 और ओमनियम C2 में गोल्ड मेडल अपने नाम किया। साइकिल चलाने के प्रति उनकी दीवानगी ने उन्हें कन्याकुमारी से कश्मीर तक 43 दिन की यात्रा करने के लिए प्रेरित किया।


भविष्य की उम्मीदें

अरशद शेख ने पहले नेशनल पैरा साइकिलिंग चैंपियनशिप में गोल्ड मेडल जीतकर अपने सीजन की शानदार शुरुआत की है। उनके फैंस को उनसे काफी उम्मीदें हैं और यह देखना दिलचस्प होगा कि वह आगामी इवेंट्स में अपने फॉर्म को बनाए रख पाते हैं या नहीं।