गुजरात में तेंदुए और गाय की अनोखी दोस्ती की कहानी
गाय की देखभाल में तेंदुए की अनोखी भूमिका
गुजरात के एक छोटे से गांव में एक व्यक्ति ने हाल ही में एक गाय खरीदी। उसे हर रात कुत्तों के भौंकने की आवाज सुनाई देती थी। इस शोर का कारण जानने के लिए, उसने अपने घर के चारों ओर सीसीटीवी कैमरे लगवाए। लेकिन जो उसने देखा, वह उसे चौंका देने वाला था।

हर रात, एक तेंदुआ चुपचाप उसके आंगन में आता और गाय के पास बैठ जाता। न तो डर था और न ही कोई हिंसा—बस एक शांत और अपनापन भरा माहौल। यह देखकर वह व्यक्ति हैरान रह गया और उसने गाय के पूर्व मालिक से इस अजीब व्यवहार के बारे में जानकारी ली।
पिछले मालिक ने एक दिल को छू लेने वाली कहानी सुनाई। कई साल पहले, तेंदुए की माँ को शिकारीयों ने मार डाला था, जब वह केवल 20 दिन का था। उस समय, गाय ने उस अनाथ तेंदुए को अपना दूध पिलाया और उसकी जान बचाई। वह तेंदुआ बड़ा होकर जंगल में चला गया, लेकिन उसने अपनी 'माँ' को कभी नहीं भुलाया।
अब वह बड़ा हो चुका है, लेकिन अपनी माँ के प्रति उसका प्रेम वैसा ही बना हुआ है। हर रात, वह तेंदुआ जंगल से आता है, गाय के पास बैठता है, जैसे वह अपनी माँ से मिलने आया हो। यह दृश्य उस व्यक्ति के लिए केवल एक कहानी नहीं, बल्कि माँ और बच्चे के बीच के अद्वितीय बंधन का प्रतीक बन गया।

इस कहानी ने गांव के लोगों को भी भावुक कर दिया है, जो अब इस तेंदुए और गाय के अनोखे रिश्ते को प्यार और सम्मान के साथ देखते हैं।