भारत की विकास यात्रा में नई प्रौद्योगिकियों की भूमिका: पीयूष गोयल का बयान

केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल ने हाल ही में कहा कि नई प्रौद्योगिकियां भारत की विकास यात्रा को आकार देंगी। उन्होंने आईआईटी मद्रास के कार्यक्रम में बताया कि देश अब नौकरी देने वाले राष्ट्र में बदल रहा है। गोयल ने यह भी कहा कि भारत की नीतियां तकनीक को अपनाने और वैश्विक व्यापार में मंदी को रोकने के लिए तैयार की गई हैं। जानें और क्या कहा उन्होंने इस कार्यक्रम में।
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भारत की विकास यात्रा में नई प्रौद्योगिकियों की भूमिका: पीयूष गोयल का बयान

नई प्रौद्योगिकियों का महत्व

केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल ने शनिवार को कहा कि आने वाले वर्षों में नई तकनीकों का भारत की विकास यात्रा पर गहरा प्रभाव पड़ेगा। भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आईआईटी) मद्रास एलुमनाई एसोसिएशन के ‘संगम 2025’ कार्यक्रम में उन्होंने बताया, ‘‘आपका विज्ञान और प्रौद्योगिकी, इस जीवंत स्टार्टअप पारिस्थितिकी, अनुसंधान एवं विकास और नवाचार के साथ मिलकर भारत के भविष्य को आकार देंगे।’’


गोयल ने यह भी कहा कि भारत अब नौकरी चाहने वाले देश से नौकरी देने वाले देश में बदल रहा है। उन्होंने कहा, ‘‘हमने स्टार्टअप पारिस्थितिकी को समर्थन देने के लिए कई छोटे उपाय किए हैं, और आईआईटी मद्रास जैसे संस्थानों के योगदान को भी मान्यता दी है।’’


उन्होंने आगे कहा कि भारत की नीतियां एक भविष्य के लिए तैयार राष्ट्र बनाने की दिशा में हैं, जो तकनीक को अपनाने, काम करने और जीने के नए तरीकों को अपनाने के लिए प्रतिबद्ध है। इसमें कृत्रिम बुद्धिमत्ता, मशीन लर्निंग, क्वांटम कंप्यूटिंग और डेटा विश्लेषण जैसे क्षेत्रों में अग्रणी बनने की कोशिश की जा रही है।


मंत्री ने कहा, ‘‘हम नई तकनीकों से पीछे नहीं हटते। हमारा विश्वास है कि ये तकनीकें हमें विकास की दिशा में आगे बढ़ने में मदद करेंगी।’’ उन्होंने यह भी बताया कि इससे भारत को वैश्विक व्यापार में मंदी की प्रवृत्ति को रोकने में मदद मिलेगी, जबकि अंतरराष्ट्रीय जुड़ाव को भी बढ़ाया जाएगा।