एनपीसीआई का नया नियम: फेस ऑथेंटिकेशन से होंगे बड़े ट्रांजेक्शन

भारतीय राष्ट्रीय भुगतान निगम (एनपीसीआई) ने उच्च मूल्य वाले वित्तीय लेनदेन के लिए आधार आधारित चेहरे की पहचान को मान्यता देने की योजना बनाई है। यूआईडीएआई के उप महानिदेशक अभिषेक कुमार सिंह ने बताया कि यह प्रमाणीकरण का सबसे सरल और तेज तरीका है। इसके अलावा, एनपीसीआई ने वियरेबल स्मार्ट ग्लास के माध्यम से यूपीआई लाइट से भुगतान की सुविधा की घोषणा की है, जिससे उपयोगकर्ताओं को केवल क्यूआर कोड स्कैन करना होगा। जानें इस नई सुविधा के बारे में और कैसे यह आपके लिए फायदेमंद हो सकता है।
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एनपीसीआई का नया नियम: फेस ऑथेंटिकेशन से होंगे बड़े ट्रांजेक्शन

एनपीसीआई के नियमों में बदलाव

एनपीसीआई का नया नियम: फेस ऑथेंटिकेशन से होंगे बड़े ट्रांजेक्शन

भारतीय राष्ट्रीय भुगतान निगम (एनपीसीआई) अपने नियमों में बदलाव करने की योजना बना रहा है।

यूनीक आईडेंटिफिकेशन अथॉरिटी ऑफ इंडिया (यूआईडीएआई) के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि एनपीसीआई जल्द ही उच्च मूल्य वाले वित्तीय लेनदेन के लिए आधार आधारित चेहरे की पहचान को मान्यता दे सकता है। यूआईडीएआई के उप महानिदेशक अभिषेक कुमार सिंह ने ‘ग्लोबल फिनटेक फेस्ट 2025’ में एक चर्चा के दौरान कहा कि यूआईडीएआई एक बुनियादी ढांचा है, जो यह जानने का सबसे विश्वसनीय तरीका है कि कौन कौन है। हमारे पास दुनिया का सबसे बड़ा बायोमेट्रिक डेटाबेस है, और हम चेहरे की पहचान के उपयोग की जोरदार सिफारिश करते हैं।

तेज और सरल प्रमाणीकरण

अभिषेक कुमार सिंह ने कहा कि एनपीसीआई पहले से ही इस विचार पर काम कर रहा है और जल्द ही इस पर घोषणा की जा सकती है। उन्होंने अन्य बैंकरों से भी इस व्यवस्था में शामिल होने का आग्रह किया, यह बताते हुए कि यह प्रमाणीकरण का सबसे सरल और तेज तरीका है। प्रमाणीकरण का बुनियादी ढांचा और फ्रेमवर्क डिवाइस से जुड़ा है, जिसके लिए विशेष उपकरण की आवश्यकता होती है, सिवाय ओटीपी के, यदि प्रमाणीकरण बायोमेट्रिक प्रक्रिया के माध्यम से किया जा रहा है।

मोबाइल से होगा प्रमाणीकरण

उन्होंने बताया कि हाल ही में आई एक रिपोर्ट के अनुसार, भारत में 64 करोड़ से अधिक स्मार्टफोन हैं, जबकि कुल डिवाइस इकोसिस्टम लगभग 40 लाख का है। जैसे ही हम चेहरे की पहचान की बात करते हैं, आपका स्मार्टफोन ही आपका उपकरण बन जाता है, जिससे डिवाइस इकोसिस्टम अचानक 64 करोड़ से अधिक हो जाता है। इस प्रकार की सुविधा सभी के लिए उपलब्ध हो जाती है।

एनपीसीआई का नया ऐलान

इसके अलावा, एनपीसीआई ने एक महत्वपूर्ण घोषणा की है। अब भारत में वियरेबल स्मार्ट ग्लास के माध्यम से यूपीआई लाइट सुविधा से भुगतान किया जा सकता है। इसके लिए उपयोगकर्ताओं को केवल क्यूआर कोड स्कैन करना होगा और वॉयस कमांड देना होगा। एनपीसीआई ने कहा कि इस सुविधा के लिए न तो मोबाइल फोन की आवश्यकता होगी और न ही कोई पिन नंबर दर्ज करना पड़ेगा।

‘यूपीआई लाइट’ को विशेष रूप से छोटे मूल्य के बार-बार किए जाने वाले भुगतानों के लिए विकसित किया गया है, जिसमें मुख्य बैंकिंग प्रणाली पर निर्भरता बहुत कम होती है। एनपीसीआई ने एक वीडियो जारी कर बताया है कि स्मार्ट ग्लास पर यूपीआई लाइट से भुगतान करना बेहद सरल है - बस देखो, बोलो, और भुगतान करो।