इंडोनेशिया: मुस्लिम देश जहां रामायण का पाठ है अनिवार्य

इंडोनेशिया, एक मुस्लिम बहुल देश, जहां हर बच्चा रामायण का पाठ करता है। यहां के नागरिक इसे अपनी जिम्मेदारी मानते हैं। जानें कैसे यह परंपरा वहां के समाज में गहराई से जुड़ी हुई है और कैसे यह एक अद्वितीय उदाहरण प्रस्तुत करती है। क्या आप जानते हैं कि रामायण का पाठ वहां के बच्चों के लिए एक नैतिक शिक्षा का हिस्सा है? इस लेख में जानें इस अनोखी परंपरा के बारे में।
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इंडोनेशिया: मुस्लिम देश जहां रामायण का पाठ है अनिवार्य

रामायण की अद्भुत परंपरा

इंडोनेशिया: मुस्लिम देश जहां रामायण का पाठ है अनिवार्य


भारत में एक आम धारणा है कि हर मुस्लिम आतंकवादी नहीं होता, लेकिन हर आतंकवादी मुस्लिम होता है। यह कहावत किसने बनाई, यह तो कोई नहीं जानता, लेकिन यह हिंदुओं के बीच मुस्लिमों के प्रति एक पूर्वाग्रह को दर्शाती है।


आज भी, शिक्षित हिंदू किसी मुस्लिम के आतंकवादी होने का प्रमाण देने के लिए इसी धारणा का सहारा लेते हैं, बिना सच्चाई जाने। हालांकि, कई बार मुस्लिमों ने हिंदुओं से अधिक देशभक्ति का प्रदर्शन किया है। देश के प्रति वफादारी के लिए हिंदू या मुस्लिम होना आवश्यक नहीं है; इंसान होना और चीजों को समझना महत्वपूर्ण है।


हर देश की अपनी एक अलग संस्कृति होती है, और भारत की संस्कृति सबसे अनोखी मानी जाती है। कहा जाता है कि हमारे देश को देवताओं ने बसाया था, लेकिन शायद ही कोई उनके आदर्शों का पालन करता है।


इंडोनेशिया में रामायण का महत्व

रामायण का पाठ एक जिम्मेदारी: रामायण में उच्च आदर्शों का वर्णन किया गया है, लेकिन शायद ही कोई इन्हें अपने जीवन में उतारता है। फिर भी, एक मुस्लिम देश ऐसा है जहां हर बच्चा रामायण पढ़ता है। यहां के स्कूलों में रामायण का पाठ अनिवार्य है, और मुस्लिम इसे अपनी जिम्मेदारी मानते हैं।


इंडोनेशिया: एक अनोखा उदाहरण: इंडोनेशिया, जो कि मुस्लिम बहुल देश है, में रामायण का पाठ व्यापक रूप से किया जाता है। यहां के बाली राज्य में केवल हिंदू रहते हैं, लेकिन पूरे देश में रामायण का अध्ययन किया जाता है।


कर्तव्य का अहसास: इंडोनेशिया के हर नागरिक, चाहे वह हिंदू हो या मुस्लिम, रामायण का पाठ करना अपना कर्तव्य समझता है। शिक्षा और संस्कृति मंत्री अनीस बास्वेदन ने हाल ही में भारत में कहा कि वे चाहते हैं कि रामायण का मंचन करने वाले कलाकार भारत में अपनी कला का प्रदर्शन करें।


रामायण पर्व का आयोजन: यह देखना दिलचस्प है कि एक मुस्लिम बहुल देश का नागरिक, अनीस, रामायण पर्व का आयोजन करने की इच्छा व्यक्त करता है।


अच्छे इंसान बनने की प्रेरणा: इंडोनेशिया के लोग रामायण का पाठ इसलिए करते हैं ताकि वे अच्छे इंसान बन सकें। जब आप वहां के बच्चों से पूछते हैं कि वे रामायण क्यों पढ़ते हैं, तो वे कहते हैं कि वे अच्छे इंसान बनना चाहते हैं।


यहां के नागरिकों को बचपन से ही राम के सद्गुणों का पालन करने की शिक्षा दी जाती है। यह सोचने वाली बात है कि भारत में कितने लोग रामायण का पाठ करते हैं। क्या आपने रामायण का पाठ किया है?