सरकार की डायरेक्ट टैक्स कलेक्शन में अभूतपूर्व वृद्धि

इस वित्त वर्ष में सरकार की डायरेक्ट टैक्स कलेक्शन में अभूतपूर्व वृद्धि हुई है, जिसमें कॉरपोरेट टैक्स और नॉन कॉरपोरेट टैक्स दोनों में इजाफा देखने को मिला है। 12 लाख करोड़ रुपये की कमाई के साथ, सरकार ने रिफंड में कमी और टैक्स संग्रह के विभिन्न पहलुओं पर ध्यान केंद्रित किया है। जानें इस वृद्धि के पीछे के कारण और आंकड़े, जो सरकार के वित्तीय स्वास्थ्य को दर्शाते हैं।
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सरकार की डायरेक्ट टैक्स कलेक्शन में अभूतपूर्व वृद्धि

डायरेक्ट टैक्स कलेक्शन में वृद्धि की जानकारी

सरकार की डायरेक्ट टैक्स कलेक्शन में अभूतपूर्व वृद्धि

डायरेक्ट टैक्स कलेक्शन में उल्लेखनीय वृद्धि देखी गई है.

हालांकि सरकार ने 12 लाख रुपये तक की आय को टैक्स मुक्त कर दिया है, फिर भी टैक्स कलेक्शन में कोई कमी नहीं आई है। रिपोर्ट के अनुसार, कॉरपोरेट टैक्स में वृद्धि और रिफंड में कमी के कारण टैक्स कलेक्शन में जबरदस्त बढ़ोतरी हुई है। वर्तमान वित्त वर्ष में, सरकार ने डायरेक्ट टैक्स कलेक्शन के माध्यम से लगभग 12 लाख करोड़ रुपये की कमाई की है। नॉन कॉरपोरेट टैक्स कलेक्शन में भी वृद्धि हुई है। इसके अलावा, सिक्योरिटी ट्रांजेक्शन टैक्स में भी बढ़ोतरी देखी गई है। आइए जानते हैं कि सरकार को किस टैक्स के तहत कितना लाभ हुआ है.

सरकार द्वारा डायरेक्ट टैक्स कलेक्शन के आंकड़े

  1. कॉरपोरेट कर संग्रह में वृद्धि और रिफंड में कमी के कारण चालू वित्त वर्ष में 12 अक्टूबर तक शुद्ध प्रत्यक्ष कर संग्रह 6.33 प्रतिशत बढ़कर 11.89 लाख करोड़ रुपये से अधिक हो गया है.
  2. इस वर्ष 1 अप्रैल से 12 अक्टूबर के बीच जारी किए गए रिफंड में 16 प्रतिशत की कमी आई है, जो 2.03 लाख करोड़ रुपये रह गया है.
  3. 1 अप्रैल से 12 अक्टूबर के बीच शुद्ध कॉरपोरेट कर संग्रह लगभग 5.02 लाख करोड़ रुपये रहा, जबकि 2024 की इसी अवधि में यह 4.92 लाख करोड़ रुपये था.
  4. समीक्षाधीन अवधि में गैर-कॉरपोरेट कर लगभग 6.56 लाख करोड़ रुपये रहा, जो पिछले वर्ष की इसी अवधि में 5.94 लाख करोड़ रुपये था.
  5. प्रतिभूति लेनदेन कर (एसटीटी) संग्रह 30,878 करोड़ रुपये रहा, जो पिछले वर्ष की इसी अवधि में 30,630 करोड़ रुपये था.
  6. शुद्ध प्रत्यक्ष कर संग्रह, जिसमें व्यक्तिगत आयकर और कॉरपोरेट टैक्स शामिल हैं, चालू वित्त वर्ष में 12 अक्टूबर तक सालाना आधार पर 6.33 प्रतिशत बढ़कर 11.89 लाख करोड़ रुपये से अधिक रहा, जबकि पिछले वर्ष इसी अवधि में यह लगभग 11.18 लाख करोड़ रुपये था.
  7. चालू वित्त वर्ष में 12 अक्टूबर तक रिफंड समायोजित करने से पहले ग्रॉस डायरेक्ट टैक्स कलेक्शन 13.92 लाख करोड़ रुपये से अधिक रहा, जो सालाना आधार पर 2.36 प्रतिशत की वृद्धि दर्शाता है.
  8. सरकार ने चालू वित्त वर्ष (2025-26) में डायरेक्ट टैक्स कलेक्शन के रूप में 25.20 लाख करोड़ रुपये जुटाने का लक्ष्य रखा है, जो सालाना आधार पर 12.7 प्रतिशत अधिक है.