वृंदावन में संत प्रेमानंद महाराज की चिंता: बच्चों की बढ़ती गलत आदतें

बच्चों की समस्याओं पर संत की चिंता
वृंदावन के संत प्रेमानंद महाराज के आश्रम में एक 12 वर्षीय बच्चे की बात ने सबको चौंका दिया। बच्चे ने खुलासा किया कि उसकी उम्र में ही एक गर्लफ्रेंड है और उसे हस्तमैथुन जैसी गलत आदत लग गई है। यह सुनकर महाराज जी बेहद चिंतित हो गए।
प्रेमानंद महाराज ने सवाल उठाया कि क्या इतनी कम उम्र में बच्चों के लिए गर्लफ्रेंड होना संभव है? उन्होंने इस विषय पर चिंता व्यक्त करते हुए कहा कि आजकल के बच्चे मोबाइल की लत और गलत संगत के कारण ऐसी समस्याओं में फंस रहे हैं, जिनका कोई त्वरित समाधान नहीं है।
महाराज जी ने इसे एक खतरनाक खेल बताया और उदाहरण देते हुए कहा, "जैसे गेहूं की फसल को जल्दी काटने पर न तो दाना मिलता है और न ही भूसा, ठीक उसी तरह बच्चे अपनी मासूमियत खो रहे हैं और उनका भविष्य बर्बाद हो रहा है।"
उन्होंने चेतावनी दी कि बच्चों की बुद्धि अभी विकसित नहीं हुई है, इसलिए ऐसी आदतें उन्हें भविष्य में गृहस्थी के लिए योग्य नहीं बनाएंगी। ये बच्चे मानसिक विकारों जैसे डिप्रेशन का शिकार भी हो सकते हैं।
प्रेमानंद महाराज ने बच्चों को सलाह दी कि वे गलत रास्ते पर जाने से बचें और नामजप का सहारा लें। इसके साथ ही उन्होंने माता-पिता से भी अनुरोध किया कि वे बच्चों के साथ प्रेम और समझदारी से पेश आएं, उनकी निगरानी करें ताकि मोबाइल और गलत संगत के कारण उनका बचपन न बर्बाद हो।
महाराज जी का कहना है कि यह कलयुग का समय है, जहां बच्चों की मासूमियत तेजी से खत्म हो रही है। ऐसे में परिवार और समाज को मिलकर बच्चों को सही मार्ग दिखाना चाहिए और उनके उज्जवल भविष्य को सुनिश्चित करना चाहिए।