लखनऊ में सोने और चांदी की कीमतों में भारी उछाल, ग्राहकों में चिंता
लखनऊ में सोने और चांदी की कीमतों का संकट
लखनऊ। राजधानी लखनऊ में सोने और चांदी की कीमतों में तेजी ने ग्राहकों को दुविधा में डाल दिया है। लोग यह तय नहीं कर पा रहे हैं कि शादी के लिए कितने ग्राम गहने बनवाने चाहिए, क्योंकि सोने की कीमतें सात से आठ लाख रुपये तक पहुंच गई हैं। पहले जो बिछिया और पायल कुछ हजार में मिलती थीं, अब उनका मूल्य लाखों में पहुंच गया है।
इसके बावजूद, लोग ज्वेलरी की दुकानों पर जाकर पूछ रहे हैं कि क्या सोने और चांदी की कीमतें गिरेंगी। इस पर ज्वेलर्स कोई निश्चित उत्तर नहीं दे पा रहे हैं। कारोबारियों का कहना है कि अभी खरीदारी करें, क्योंकि फरवरी 2026 तक सोने की कीमतें डेढ़ लाख रुपये प्रति दस ग्राम तक पहुंच सकती हैं।
हालांकि, सोने की कीमतें कुछ हज़ार रुपये गिर सकती हैं, लेकिन यह सवा लाख रुपये से नीचे नहीं आएंगी। चांदी की कीमतें भी थोड़ी कम हो सकती हैं, लेकिन अभी इसके गिरने की संभावना नहीं है। निवेशकों का रुख इन धातुओं की ओर बढ़ रहा है, जिससे कीमतों में वृद्धि की संभावना बनी हुई है।
इंडियन बुलियन ज्वेलर्स एसोसिएशन के नॉर्थ हेड अनुराग रस्तोगी का कहना है कि सोने की कीमतें अपने उच्चतम स्तर पर हैं। ग्राहकों को सोने में निवेश जारी रखना चाहिए, लेकिन बजट के अनुसार। आने वाले वर्षों में सोने की कीमतें एक नया रिकॉर्ड स्थापित कर सकती हैं।
रस्तोगी ने बताया कि दिसंबर 2026 तक सोने की कीमतें डेढ़ लाख रुपये तक पहुंचने का अनुमान है, जबकि हाल ही में सोने की कीमत 1,42,300 रुपये प्रति दस ग्राम हो गई है। हर दिन कीमतों में वृद्धि हो रही है। ज्वेलर्स भी इस बारे में असमंजस में हैं कि कीमतें कितनी बढ़ेंगी।
कीमतों में वृद्धि के कारणों में आर्थिक अनिश्चितता, रूस-यूक्रेन युद्ध, और वैश्विक अस्थिरता शामिल हैं। निवेशक शेयर बाजार से पैसे निकालकर सोने और चांदी में निवेश कर रहे हैं। डॉलर की कमजोरी भी कीमतों को प्रभावित कर रही है। चांदी की मांग इलेक्ट्रॉनिक्स और ग्रीन टेक्नोलॉजी में भी बढ़ी है, जो कीमतों में वृद्धि का एक और कारण है।
