रावण की मृत्यु के रहस्य: क्या उसकी आत्मा आज भी भटक रही है?
रावण की मृत्यु का रहस्य
रावण की मत्युImage Credit source: Freepik
रावण की मृत्यु का रहस्य: रावण त्रिलोक का सम्राट था और शिव का अनन्य भक्त माना जाता है। उसने भगवान शंकर को अपने सिर अर्पित किए। रावण एक महान विद्वान और पंडित था। त्रेतायुग में भगवान राम के समय में कई महत्वपूर्ण घटनाएं घटीं, जिनमें से एक रावण की मृत्यु भी है।
रावण ने कई पाप किए थे, जिससे यह सवाल उठता है कि उसकी आत्मा मृत्यु के बाद कहां गई? क्या वह आज भी किसी लोक में भटक रही है? आइए, इस विषय पर विस्तार से चर्चा करते हैं।
विभीषण ने अंतिम संस्कार से किया था इनकार
एक कथा के अनुसार, रावण की मृत्यु के बाद जब उसके अंतिम संस्कार की बात आई, तो भगवान राम ने विभीषण से कहा कि वह रावण का अंतिम संस्कार करें। लेकिन विभीषण ने इससे मना कर दिया। उन्होंने कहा कि रावण एक दुराचारी और पापी था, इसलिए वह उसका अंतिम संस्कार नहीं कर सकते।
भगवान राम ने विभीषण को समझाया कि रावण की मृत्यु के साथ उसके सभी पाप समाप्त हो गए हैं। मृत व्यक्ति का अंतिम संस्कार करना उसका अधिकार है। राम के समझाने पर विभीषण ने अपने भाई का सम्मानपूर्वक अंतिम संस्कार किया और उसकी आत्मा की शांति के लिए प्रार्थना की।
रावण की आत्मा का बैकुंठ लोक जाना
धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, भगवान राम द्वारा मारे जाने के बाद रावण की आत्मा बैकुंठ लोक (स्वर्ग) गई। रावण भगवान नारायण के पार्षद थे और सनकादिक ऋषियों के श्राप के कारण जन्म-मृत्यु के चक्र में फंसे थे। मोक्ष प्राप्त करने के बाद, वह अपने मूल स्वरूप में लौट गए हैं और अब किसी लोक में भटक नहीं रहे हैं।
ये भी पढ़ें: Makar Sankranti 2026: क्या सूर्य दोष और पितृ दोष से हैं परेशान? बस मकर संक्रांति पर कर लें ये काम
