राजस्थान में चिकित्सा लापरवाही से महिला की जिंदगी में आया संकट

जयपुर में नानगी देवी की दर्दनाक कहानी
राजस्थान के जयपुर शहर में, नानगी देवी नाम की एक महिला पेट के गंभीर दर्द से जूझ रही थी। यह दर्द इतना तीव्र था कि उसने उसकी नींद और दिन का सुकून छीन लिया था। अपने पति सुवालाल के साथ, वह एक स्थानीय महिला चिकित्सक के पास गई, जिन्होंने बताया कि यह एक सामान्य समस्या है और इसे एक छोटी सर्जरी से ठीक किया जा सकता है। इस सुनकर नानगी और उसके परिवार ने राहत की सांस ली।
हालांकि, सर्जरी के बाद भी दर्द में कोई सुधार नहीं हुआ, बल्कि यह और भी बढ़ गया। जब भी नानगी डॉक्टर के पास जाती, उन्हें केवल दर्द निवारक दवाएं दी जातीं। यह स्थिति सात महीने तक चलती रही, जिसमें नानगी का स्वास्थ्य लगातार बिगड़ता गया और उसे बार-बार अस्पताल में भर्ती होना पड़ा। डॉक्टरों की लापरवाही ने परिवार को हताश कर दिया।
अंततः, सुवालाल ने अपनी पत्नी को एक अन्य अस्पताल में ले जाने का निर्णय लिया। वहां के चिकित्सकों ने स्थिति की गंभीरता को समझते हुए एक और सर्जरी करने का निर्णय लिया। ऑपरेशन थिएटर में, जब सर्जरी शुरू हुई, तो डॉक्टरों का चेहरा डर और आश्चर्य से सफेद पड़ गया।
सर्जरी के दौरान, एक 8 मिमी की पट्टी का टुकड़ा नानगी के पेट से निकाला गया, जो कि एक गंभीर चिकित्सा गलती का परिणाम था। यह पट्टी उसके आंतरिक अंगों को गंभीर नुकसान पहुंचा चुकी थी। सुवालाल ने देखा कि यह एक आपराधिक लापरवाही थी, जिसके बाद डॉक्टरों ने तुरंत पुलिस को बुलाया।
यह मामला केवल एक चिकित्सा गलती नहीं था, बल्कि एक महिला के जीवन के प्रति की गई घोर लापरवाही का प्रमाण था। पुलिस के आने पर, मामला दर्ज किया गया और पहली डॉक्टर के साथ-साथ अस्पताल के अन्य कर्मचारियों पर धोखाधड़ी और लापरवाही के आरोप लगाए गए।
हालांकि, नानगी देवी अभी भी पूरी तरह से ठीक नहीं हुई हैं, लेकिन उस दिन ऑपरेशन थिएटर में सामने आए सच ने एक महिला के साथ हुए अन्याय को उजागर कर दिया। यह कहानी हमेशा याद दिलाएगी कि कैसे एक छोटी सी गलती किसी के जीवन को प्रभावित कर सकती है।