राजस्थान में अरावली पर्वत खनन के खिलाफ प्रदर्शन तेज

राजस्थान में अरावली पर्वत श्रंखला में खनन की अनुमति मिलने के बाद से राज्य के विभिन्न हिस्सों में विरोध प्रदर्शन शुरू हो गए हैं। स्थानीय लोग सड़कों पर उतरकर अपनी नाराजगी व्यक्त कर रहे हैं, जिसके चलते पुलिस के साथ झड़पें भी हुईं। नेता प्रतिपक्ष टीकाराम जूली ने इस फैसले को वापस लेने की मांग की है। जोधपुर में भी प्रदर्शन के दौरान पुलिस ने लाठी चार्ज किया। जानें इस मुद्दे पर और क्या हो रहा है।
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राजस्थान में खनन की मंजूरी पर विरोध

राजस्थान में अरावली पर्वत खनन के खिलाफ प्रदर्शन तेज


जयपुरः राजस्थान के अरावली पर्वत श्रंखला में सुप्रीम कोर्ट द्वारा खनन की अनुमति मिलने के बाद राज्य के विभिन्न हिस्सों में विरोध प्रदर्शन शुरू हो गए हैं। स्थानीय लोगों ने सड़कों पर उतरकर अपनी नाराजगी व्यक्त की, जिसके चलते पुलिस के साथ झड़पें भी हुईं।


उदयपुर में कांग्रेस और विभिन्न सामाजिक संगठनों के कार्यकर्ताओं ने कलेक्ट्रेट के बाहर प्रदर्शन किया, जहां उनकी पुलिस के साथ धक्का-मुक्की हुई। इस दौरान कार्यकर्ताओं ने जोरदार नारेबाजी की।


पुलिस की कार्रवाई और हिरासत

पुलिस ने कार्यकर्ताओं को हिरासत में लिया


विरोध के दौरान स्थिति को नियंत्रित करने के लिए पुलिस ने कुछ कार्यकर्ताओं को हिरासत में लिया। जयपुर के अलावा, सीकर में भी विरोध प्रदर्शन देखने को मिला, जहां 945 मीटर ऊंचाई पर स्थित हर्ष पर्वत पर भी प्रदर्शन हुआ।


नेता प्रतिपक्ष की प्रतिक्रिया

क्या बोले नेता प्रतिपक्ष


खनन के खिलाफ आवाज उठाते हुए नेता प्रतिपक्ष टीकाराम जूली ने कहा कि अरावली पर्वत राजस्थान के लिए फेफड़ों के समान है। उन्होंने इस फैसले को वापस लेने की मांग की और चेतावनी दी कि यदि ऐसा नहीं किया गया, तो कांग्रेस उग्र आंदोलन करेगी।


जोधपुर में प्रदर्शन और लाठी चार्ज

जोधपुर में लाठी चार्ज


अरावली की रक्षा के लिए जोधपुर में भी उग्र प्रदर्शन हुआ। एनएसयूआई के कार्यकर्ता प्रदर्शन के दौरान बेरिकेड्स पर चढ़ गए, जिसके बाद पुलिस ने लाठी चार्ज किया। उल्लेखनीय है कि 20 नवंबर को सुप्रीम कोर्ट का फैसला आया था, जिसमें कहा गया था कि जमीन से 100 मीटर या उससे अधिक ऊंचाई वाली भू-आकृति को ही अरावली पहाड़ी माना जाएगा। इस मानक के चलते 90 प्रतिशत से अधिक ऊंची पहाड़ियां सुरक्षा के दायरे से बाहर हो गईं, जिससे अरावली की रक्षा की मांग तेज हो गई।