रविंद्र चव्हाण बने महाराष्ट्र बीजेपी के नए अध्यक्ष, चुनाव प्रक्रिया जारी

महाराष्ट्र में बीजेपी के नए प्रदेश अध्यक्ष के रूप में रविंद्र चव्हाण का नाम लगभग तय हो गया है। मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने बताया कि चुनाव प्रक्रिया पूरी तरह से लोकतांत्रिक है। चव्हाण, जो वर्तमान में कार्यकारी अध्यक्ष हैं, को मुंबई महानगर क्षेत्र के स्थानीय निकाय चुनावों से पहले राज्य अध्यक्ष के रूप में पदोन्नत किया जा सकता है। इस क्षेत्र में बीजेपी की विस्तार योजनाओं के लिए महत्वपूर्ण है, जहां शिवसेना का लंबे समय तक दबदबा रहा है। जानें इस चुनाव प्रक्रिया के बारे में और क्या है इसके पीछे की कहानी।
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रविंद्र चव्हाण बने महाराष्ट्र बीजेपी के नए अध्यक्ष, चुनाव प्रक्रिया जारी

महाराष्ट्र बीजेपी अध्यक्ष का नाम लगभग तय

महाराष्ट्र में भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के नए प्रदेश अध्यक्ष के नाम की घोषणा होने वाली है। सूत्रों के अनुसार, पूर्व मंत्री रविंद्र चव्हाण इस पद के लिए उम्मीदवार हैं। महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने बताया कि बीजेपी में चुनाव प्रक्रिया पूरी तरह से लोकतांत्रिक है। 1200 मंडलों के चुनाव संपन्न होने के बाद जिला अध्यक्षों के चुनाव भी हो चुके हैं, और अब प्रदेश अध्यक्ष के चुनाव की प्रक्रिया चल रही है। केंद्रीय मंत्री किरेन रिजिजू भी इस मौके पर उपस्थित हैं और उन्होंने पुष्टि की है कि चव्हाण का नामांकन दाखिल हो चुका है। कल शाम 5 बजे तक नए अध्यक्ष के नाम की आधिकारिक घोषणा की जाएगी।


 


फडणवीस ने आगे कहा कि यदि चव्हाण अकेले उम्मीदवार होते, तो उनका नाम पहले ही घोषित कर दिया जाता। अगर अन्य नामांकन होते, तो चुनाव कराए जाते। चव्हाण के कार्यकाल में पार्टी नई ऊंचाइयों को छूने की उम्मीद है। वर्तमान में, चव्हाण महाराष्ट्र बीजेपी के कार्यकारी अध्यक्ष हैं और उन्हें मुंबई महानगर क्षेत्र के स्थानीय निकाय चुनावों से पहले राज्य अध्यक्ष के रूप में पदोन्नत किया जा सकता है। हालांकि, उन्हें पहले मुख्यमंत्री पद की दौड़ में हार का सामना करना पड़ा था और फडणवीस मंत्रिमंडल में मंत्री पद भी नहीं मिल सका।


 


हालांकि, राहत की बात यह है कि उन्हें चंद्रशेखर बावनकुले के नेतृत्व में कार्यकारी अध्यक्ष के रूप में नियुक्त किया गया था। अब वह प्रदेश अध्यक्ष बनने जा रहे हैं। महाराष्ट्र में बीजेपी की विस्तार योजनाओं के लिए मुंबई महानगर क्षेत्र (एमएमआर) महत्वपूर्ण है। यह राज्य का सबसे बड़ा शहरी समूह है, जिसमें आठ नगर निगम शामिल हैं। महाराष्ट्र की 288 विधानसभा सीटों में से लगभग 67 और 48 लोकसभा सीटों में से 11 सीटें इसी क्षेत्र में हैं। कई वर्षों तक इस क्षेत्र में शिवसेना का दबदबा रहा है, और अब पार्टी में विभाजन के बाद बीजेपी यहां अपना नियंत्रण स्थापित करना चाहती है।