यूक्रेन का रूस पर बड़ा ड्रोन हमला: 100 से अधिक ड्रोन का इस्तेमाल

रविवार को यूक्रेन ने रूस पर एक अभूतपूर्व ड्रोन हमला किया, जिसमें 100 से अधिक ड्रोन शामिल थे। इस हमले में रूस के 40 बमवर्षक विमानों को नुकसान पहुंचा। रूस के पूर्व ऊर्जा उपमंत्री व्लादिमीर मिलोव ने इसे सुरक्षा तंत्र की नाकामी बताया है। हमले के बाद रूस में गुस्सा और बदले की मांग उठ रही है। जानें इस हमले के पीछे की कहानी और पुतिन के संभावित कदम।
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यूक्रेन का रूस पर बड़ा ड्रोन हमला: 100 से अधिक ड्रोन का इस्तेमाल

यूक्रेन का ऐतिहासिक ड्रोन हमला

रविवार को यूक्रेन ने रूस पर अब तक का सबसे बड़ा ड्रोन हमला किया, जिसमें 100 से अधिक ड्रोन एक साथ भेजे गए। इन ड्रोन ने रूसी सैन्य ठिकानों और विमानों को सीधे निशाना बनाया। रिपोर्टों के अनुसार, इस हमले में रूस के कम से कम 40 बमवर्षक विमानों को नुकसान पहुंचा है। रूसी रक्षा मंत्रालय ने इस हमले की पुष्टि करते हुए इसे 'आतंकी हमला' करार दिया है। मंत्रालय के अनुसार, यूक्रेन ने मुरमांस्क, इरकुत्स्क, इवानोवो, रियाज़ान और अमूर जैसे क्षेत्रों में हमले किए।


रूसी सुरक्षा तंत्र की नाकामी

रूस के पूर्व ऊर्जा उपमंत्री व्लादिमीर मिलोव ने CNN को दिए एक इंटरव्यू में कहा कि यह हमला रूसी सुरक्षा तंत्र की कमजोरी को उजागर करता है। उन्होंने इसे रूस के लिए एक बड़ी शर्मिंदगी बताया और कहा कि रूस जल्द ही यूक्रेन पर आक्रामक कार्रवाई कर सकता है।


रूस को पहले भी मिले हैं झटके

मिलोव ने बताया कि यह पहली बार नहीं है जब यूक्रेन ने रूस को इस तरह से चौंकाया है। इससे पहले भी यूक्रेनी सैनिकों ने कुर्स्क क्षेत्र में लंबे समय तक कब्जा बनाए रखा था। अब यूक्रेनी ड्रोन हमले मॉस्को के आसपास के एयरबेस पर आम हो गए हैं।


रूसी मीडिया में गुस्सा

हमले के बाद रूस के सरकारी मीडिया और अधिकारियों में गुस्सा देखा जा रहा है। मिलोव के अनुसार, रूसी टेलीविज़न पर अब रोष का माहौल है, और लोग बदले की मांग कर रहे हैं। एक पूर्व केजीबी एजेंट ने सार्वजनिक तौर पर कहा कि यूक्रेन को पूरी तरह से मिटा देना चाहिए।


पुतिन के संभावित कदम

मिलोव का मानना है कि रूस के पास अब बड़ी ज़मीनी कार्रवाई की क्षमता नहीं है, क्योंकि सैनिकों की संख्या सीमित है। ऐसे में पुतिन फिर से यूक्रेन के शांतिपूर्ण शहरों पर मिसाइल और बमबारी कर सकते हैं। हालांकि परमाणु हथियारों के इस्तेमाल की चर्चा नहीं है, लेकिन मिलोव का कहना है कि पुतिन ने पहले भी दिखाया है कि जब उन्हें सैन्य मोर्चे पर नुकसान होता है, तो वह बदले और बर्बरता पर उतर आते हैं।