मैनपुरी में गैंगरेप गवाह की हत्या: परिवार ने न्याय की मांग की

मैनपुरी में दिल दहला देने वाली घटना
उत्तर प्रदेश के मैनपुरी जिले के बिछवां थाना क्षेत्र में एक भयावह घटना सामने आई है। यहां एक 40 वर्षीय व्यक्ति, जो अपनी पत्नी के गैंगरेप मामले में गवाह था, को जिंदा जलाकर हत्या कर दी गई। मृतक का अधजला शव नहर के किनारे पाया गया, जिसे उसके परिवार ने कपड़ों के आधार पर पहचाना। परिवार का आरोप है कि गैंगरेप के आरोपियों ने मृतक पर मुकदमा वापस लेने का दबाव डाला था और जान से मारने की धमकी दी थी।
गवाह की हत्या का विवरण
परिवार के सदस्यों ने बताया कि मृतक की पत्नी के साथ एक साल पहले गैंगरेप हुआ था। उसे चार महीने तक बंधक रखा गया और जब उसे छोड़ा गया, तो उसने अपने पति के साथ मिलकर आरोपियों के खिलाफ मामला दर्ज कराया। यह मामला मैनपुरी जिला सत्र न्यायालय में चल रहा था। गैंगरेप के मुख्य आरोपी, जो गांव के पूर्व प्रधान हैं, ने मृतक पर मुकदमा वापस लेने का दबाव बनाया। जब मृतक ने ऐसा करने से इनकार किया, तो उसे धमकियां मिलने लगीं।
हत्या की प्रक्रिया
परिवार के अनुसार, आरोपी ने मृतक को फोन करके खेतों में बुलाया। वहां उसकी बेरहमी से पिटाई की गई और फिर उसे जिंदा जलाने के लिए खरपतवार और डीजल डाल दिया गया। हत्या के बाद आरोपी मौके से फरार हो गए। पुलिस ने घटना की जानकारी मिलने पर शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया और मामले की जांच शुरू कर दी है।
घटना का पूरा विवरण
परिवार का कहना है कि मृतक की पत्नी होली के दौरान अपने मायके गई थी। इसी दौरान आरोपी ने उसे घरेलू काम के बहाने बुलाया और उसका अपहरण कर लिया। चार महीने तक उसका शारीरिक शोषण किया गया। जब वह वापस आई, तो उसके पति ने पुलिस में शिकायत दर्ज कराई। तब से आरोपी लगातार मुकदमा वापस लेने का दबाव बना रहे थे।
पुलिस की प्रतिक्रिया
मैनपुरी के अपर पुलिस अधीक्षक ने कहा कि बिछवां थाना क्षेत्र में अधजले शव मिलने की सूचना मिली थी। प्रारंभिक जांच के बाद पता चला कि मृतक गाजियाबाद में बकरियों का व्यापार करता था और हाल ही में परिवार के साथ मैनपुरी आया था। पुलिस ने परिजनों के बयान दर्ज किए हैं और मामले की गहराई से जांच की जा रही है।
अब तक की कार्रवाई
- पुलिस ने शव का पोस्टमार्टम कराया है।
- मुख्य आरोपी और उसके बेटों की तलाश जारी है।
- गवाह की सुरक्षा में चूक के कारण पुलिस की कार्यशैली पर सवाल उठ रहे हैं।
परिवार की मांग
परिवार ने प्रशासन से मांग की है कि दोषियों को जल्द गिरफ्तार कर फांसी की सजा दी जाए। साथ ही, गैंगरेप केस की सुनवाई फास्ट ट्रैक कोर्ट में की जाए ताकि पीड़िता को न्याय मिल सके। इस घटना ने गवाहों की सुरक्षा को लेकर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। पुलिस प्रशासन पर आरोपियों के खिलाफ त्वरित कार्रवाई करने का दबाव बढ़ रहा है।