माता वैष्णो देवी यात्रा मार्ग पर भूस्खलन से बाधित सेवाएं
माता वैष्णो देवी के दर्शन के लिए यात्रा मार्ग पर हाल ही में भारी भूस्खलन हुआ है, जिससे बैटरी कार और अन्य सेवाएं अस्थायी रूप से बंद कर दी गई हैं। अधिकारियों ने यात्रियों की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए यात्रा को पुराने मार्ग पर मोड़ दिया है। राहत और निकासी अभियान तेजी से चल रहा है, और श्रद्धालुओं से सतर्क रहने की अपील की गई है। जानें इस स्थिति के बारे में अधिक जानकारी और यात्रा के लिए क्या कदम उठाए जा रहे हैं।
Jun 26, 2025, 13:46 IST
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माता वैष्णो देवी के दर्शन में बाधा
माता वैष्णो देवी के दर्शन के लिए हर साल 12 महीने लोग आते हैं। सभी मौसमों में मां के दरवाजे खुले रहते हैं, और बारिश के दौरान भी श्रद्धालुओं की संख्या में कमी नहीं आती। हाल ही में, माता वैष्णो देवी की पहाड़ियों पर लगातार बारिश हो रही है। भारी बारिश और भूस्खलन के कारण वैष्णो देवी तीर्थयात्रा मार्ग एक बार फिर बाधित हो गया है। यह इस वर्ष का तीसरा मौका है जब नए हिमकोटि मार्ग को बंद करना पड़ा है। अधिकारियों के अनुसार, लगातार बारिश के चलते हिमकोटि मार्ग पर बड़ा भूस्खलन हुआ है, जिससे लगभग 30 फीट मलबा और बड़े पत्थर मार्ग को अवरुद्ध कर रहे हैं। सुरक्षा कारणों से, बैटरी कार, केबल कार और हेलीकॉप्टर सेवाओं को अस्थायी रूप से निलंबित कर दिया गया है।
श्री माता वैष्णो देवी श्राइन बोर्ड ने स्थानीय प्रशासन के सहयोग से राहत और निकासी अभियान तेजी से शुरू किया है। जबकि नया मार्ग बंद है, यात्रा को पारंपरिक पुराने मार्ग से जारी रखने की अनुमति दी जा रही है। श्राइन बोर्ड के एक अधिकारी ने कहा, "यात्रियों की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए, यात्रा को मूल मार्ग पर मोड़ दिया गया है। आपदा प्रबंधन कर्मियों के साथ हमारी टीमें युद्ध स्तर पर मलबा साफ कर रही हैं।" अधिकारियों ने तीर्थयात्रियों से सतर्क रहने, केवल अधिकृत मार्गों का अनुसरण करने और मौसम संबंधी सलाह का सख्ती से पालन करने का आग्रह किया है। आगंतुकों की सहायता और मार्गदर्शन के लिए अतिरिक्त कर्मियों को तैनात किया गया है।
इससे पहले जम्मू-कश्मीर के रियासी जिले में त्रिकुटा पहाड़ियों पर स्थित माता वैष्णो देवी मंदिर जाने वाले नए मार्ग पर सोमवार को भारी भूस्खलन हुआ, जिसके कारण बैटरी कार सेवा को स्थगित करना पड़ा। अधिकारियों ने बताया कि भारी बारिश के कारण हुए भूस्खलन में कोई घायल नहीं हुआ। उन्होंने बताया कि तीर्थयात्रा को पुराने मार्ग पर मोड़ दिया गया है और यह बिना किसी व्यवधान के जारी है।