महबूबा मुफ्ती का दिल्ली ब्लास्ट पर बयान: रिश्तेदारों के साथ सही सलूक की मांग
दिल्ली ब्लास्ट पर महबूबा मुफ्ती की प्रतिक्रिया
महबूबा मुफ्ती
दिल्ली के लाल किले के निकट हुए विस्फोट ने पूरे देश को झकझोर दिया है। इस घटना में 10 लोगों की जान चली गई और 20 से अधिक लोग गंभीर रूप से घायल हुए हैं। विभिन्न नेताओं ने इस घटना पर शोक व्यक्त किया है और दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग की है। जम्मू-कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री और पीडीपी प्रमुख महबूबा मुफ्ती ने इस पर अपनी चिंता व्यक्त की है। उन्होंने कहा कि 'इससे हमारी कौम को फिर से दागदार किया जाएगा। यदि हमारे शिक्षित युवा और डॉक्टर इसमें शामिल हैं, तो यह हमारे लिए गंभीर चिंता का विषय है।'
बुधवार (12 नवंबर) को श्रीनगर में महबूबा मुफ्ती ने कहा कि इस घटना में जम्मू-कश्मीर के डॉक्टरों की भूमिका की निष्पक्ष जांच होनी चाहिए। उन्होंने कहा, 'हमारे जम्मू-कश्मीर के सबसे बुद्धिमान और सक्षम लोग, जो डॉक्टर हैं, यदि वे इसमें शामिल हैं, तो यह हमारी कौम के लिए बहुत बड़ी समस्या है।'
निष्पक्ष जांच की आवश्यकता
महबूबा मुफ्ती ने कहा, 'जो कुछ दिल्ली में हुआ, हम उससे बेहतर समझते हैं। हमने इस खूनखराबे को बहुत करीब से देखा है।' उन्होंने सरकार से निष्पक्ष जांच की अपील की। मुफ्ती ने कहा, 'मैं अनुरोध करती हूं कि इस जांच को जल्दी और निष्पक्ष रूप से किया जाए।' उन्होंने यह भी कहा कि जिन परिवारों का इससे संबंध है, उन्हें अपराधी नहीं समझा जाना चाहिए। ऐसा नहीं होना चाहिए।'
#WATCH | Srinagar, J&K | On Delhi car blast, PDP chief Mehbooba Mufti says, “We understand the pain of what happened in Delhi because we witnessed this bloodshed very closely for many years. I request that this investigation be conducted quickly and fairly. However, the families pic.twitter.com/bQyy12IgRJ
— News Media (@NewsMedia) November 12, 2025
रिश्तेदारों के साथ उचित व्यवहार की अपील
उन्होंने कहा, 'मैं जानती हूं कि दिल्ली में जो लोग इस त्रासदी का शिकार हुए हैं, उनके परिवारों पर क्या बीत रही होगी। सरकार को इसमें बदलाव लाना चाहिए। जो भी अपराधी हैं, उन्हें कड़ी सजा मिलनी चाहिए। लेकिन उनके रिश्तेदारों को बिना किसी संदेह के गिरफ्तार किया जा रहा है, उनके साथ उचित व्यवहार होना चाहिए।'
डॉक्टर के परिवार का क्या दोष?
महबूबा मुफ्ती ने कहा, 'मैंने खुद टीवी पर देखा है कि जिस तरह से एक डॉक्टर के पिता का क्या दोष है। उन्हें काले कपड़े में ढककर घसीटा जा रहा था। यह सही नहीं है। ऐसा नहीं होना चाहिए। भले ही अभी तक किसी का अपराध साबित न हुआ हो, आप शक के आधार पर मां, पिता, भाई-बहनों को गिरफ्तार कर रहे हैं। ऐसा नहीं होना चाहिए।' उन्होंने कहा कि 'मैं इस दर्द को समझती हूं। सरकार को चाहिए कि वे फर्क करें। जो लोग इसमें शामिल हैं, उन्हें कड़ी से कड़ी सजा दें। लेकिन शक के आधार पर रिश्तेदारों को पकड़ा जा रहा है, उनके साथ उचित तरीके से पेश आना चाहिए। बेशक सवाल-जवाब करें लेकिन उन्हें मुजरिम समझकर तफ्तीश न करें। अभी तो जुर्म साबित नहीं हुआ है।'
