बैन दवाओं का खतरनाक कारोबार: जानें कैसे हो रहा है लोगों का शोषण
बैन दवाओं का खतरा
सिरदर्द, पेटदर्द, शुगर और बीपी के मरीजों के लिए यह जानकारी अत्यंत महत्वपूर्ण है। यदि आप डायबिटीज और उच्च रक्तचाप की दवाएं ले रहे हैं, तो आपको उन दवाओं के प्रति सतर्क रहना चाहिए जो आप बिना डॉक्टर की सलाह के ले रहे हैं। कई लोग डॉक्टर की फीस बचाने के लिए केमिस्ट से दवाएं खरीदते हैं, लेकिन यह जानलेवा हो सकता है। बाजार में बैन दवाओं का धड़ल्ले से कारोबार हो रहा है।
बैन दवाओं का काला धंधा
बैन दवाएं वे होती हैं जिनमें हानिकारक तत्व होते हैं और जिन्हें सरकार ने बिक्री के लिए प्रतिबंधित किया है। कई दवाएं पहले उपयोग में थीं, लेकिन विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) की गाइडलाइंस के बाद इन्हें बैन कर दिया गया। इन दवाओं के हानिकारक रसायन शरीर के विभिन्न अंगों को नुकसान पहुंचाते हैं, जैसे कि किडनी, लिवर और फेफड़े। लंबे समय तक इनका सेवन जानलेवा हो सकता है।
बैन ड्रग्स की बरामदगी
हाल ही में मुंबई में सरकार ने 8.5 करोड़ रुपये की बैन दवाएं जब्त की हैं। एंटी-एक्सटॉर्शन सेल ने एक कंपनी पर छापा मारा, जहां से 15 किलो केटामाइन और कुछ प्रतिबंधित दवाएं मिलीं। केटामाइन एक ऐसा रसायन है जो दिमाग को सुन्न कर देता है और भारत में इसे बैन किया गया है। इसके बावजूद, इसका उपयोग करके दवाएं बनाई जा रही थीं और ये केमिस्ट की दुकानों तक पहुंचाई जा रही थीं।
नकली दवाओं का कारोबार
लखनऊ में हाल ही में एक गैंग को गिरफ्तार किया गया था जो बैन दवाओं का कारोबार कर रहा था। ये लोग सस्ती दवाएं खरीदकर विदेशों में महंगे दामों पर बेचते थे। उदाहरण के लिए, 10 गोलियों की एक स्ट्रिप को 30 रुपये में खरीदकर 700 रुपये में बेचा जाता था।
सस्ते दामों पर बैन दवाएं
देशभर में कई फैक्ट्रियां बैन दवाएं बनाती हैं और इन्हें सस्ते दामों पर केमिस्ट की दुकानों पर बेचती हैं। इनमें सबसे ज्यादा डायबिटीज और बीपी की दवाएं शामिल हैं। छोटे कस्बों और गांवों में लोग इन दवाओं के प्रति जागरूक नहीं होते और केमिस्ट की सलाह पर इन्हें खरीद लेते हैं।
जानलेवा दवाओं का सेवन
सिरदर्द और पेटदर्द जैसी सामान्य बीमारियों के लिए लोग अक्सर बिना डॉक्टर की सलाह के दवाएं लेते हैं। सरकार हर साल बैन दवाओं की सूची में नए नाम जोड़ती है, लेकिन आम जनता को इसकी जानकारी नहीं होती। दवा दुकानदार इस बात को जानते हैं, लेकिन मुनाफे के लिए वे इन दवाओं को बेचते हैं। ये दवाएं तुरंत असर नहीं दिखातीं, लेकिन धीरे-धीरे स्वास्थ्य को नुकसान पहुंचाती हैं।
