बिहार में नई मतदाता सूची: चुनाव आयोग की प्रक्रिया पर उठे सवाल

बिहार में आगामी विधानसभा चुनाव के लिए नई मतदाता सूची तैयार की जा रही है, जिसमें 35 लाख से अधिक नाम हटाए गए हैं। चुनाव आयोग का दावा है कि किसी भी योग्य भारतीय मतदाता का नाम नहीं काटा गया है। हालांकि, विपक्षी दलों ने इस प्रक्रिया पर सवाल उठाए हैं, जिसमें विदेशी नागरिकों के नाम शामिल नहीं करने की बात भी शामिल है। जानें इस प्रक्रिया के बारे में और क्या चिंताएं हैं विपक्षी दलों की।
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बिहार में नई मतदाता सूची: चुनाव आयोग की प्रक्रिया पर उठे सवाल

बिहार में नई मतदाता सूची का निर्माण

बिहार में आगामी विधानसभा चुनाव के लिए नई मतदाता सूची तैयार की जा रही है। इस प्रक्रिया में 35 लाख से अधिक नाम हटाए गए हैं, जिनमें मृत, स्थानांतरित और डुप्लीकेट मतदाता शामिल हैं। चुनाव आयोग का कहना है कि किसी भी योग्य भारतीय मतदाता का नाम नहीं हटाया गया है। यह कार्य संविधान के अनुच्छेद 326 के तहत किया जा रहा है और इसका NRC से कोई संबंध नहीं है। हालांकि, विपक्षी दलों ने इस पर सवाल उठाए हैं।


मतदाता सूची में विदेशी नागरिकों का मुद्दा

बिहार में नई वोटर लिस्ट से ही आगामी विधानसभा चुनाव होंगे। इसमें बांग्लादेश, म्यांमार और नेपाल के नागरिकों के नाम शामिल नहीं किए जाएंगे। आयोग के सूत्रों के अनुसार, एक लाख से अधिक बीएलओ (बूथ लेवल ऑफिसर) घर-घर जाकर एनुमरेशन फॉर्म बांट रहे हैं। कई स्थानों पर लोगों ने फॉर्म के साथ दस्तावेज देने से मना कर दिया, जिससे उनके विदेशी नागरिक होने का संदेह उत्पन्न हुआ।


आयोग का स्पष्ट बयान

चुनाव आयोग ने स्पष्ट किया है कि वह संविधान के अनुच्छेद 326 के तहत वोटर लिस्ट को नई बनाने का कार्य कर रहा है। इसमें केवल भारतीय नागरिकों के नाम जोड़े जाएंगे। आयोग किसी की नागरिकता देने या छीनने का कार्य नहीं कर सकता, यह केंद्रीय गृह मंत्रालय का कार्य है।


योग्य मतदाताओं के नाम नहीं कटेंगे

आयोग का कहना है कि केवल वोटर लिस्ट को शुद्ध करने का अधिकार उसके पास है। बिहार में 7.89 करोड़ मतदाताओं में से 35 लाख 66 हजार से अधिक नाम हटाए जाएंगे, जिनमें से 1.59% मृत, 2.20% स्थायी रूप से स्थानांतरित और 0.73% डुप्लीकेट वोटर हैं। आयोग ने आश्वासन दिया है कि एक भी भारतीय मतदाता का नाम नहीं काटा जाएगा।


मतदाता फॉर्म जमा करने की प्रक्रिया

मुख्य चुनाव आयुक्त ज्ञानेश कुमार ने बिहार के मतदाताओं के सहयोग के लिए आभार व्यक्त किया है। उन्होंने बताया कि अब तक 88.65% मतदाताओं ने फॉर्म जमा कर दिए हैं। आयोग ने 35.6 लाख फर्जी या डुप्लीकेट वोटरों की पहचान की है और 17 जुलाई से डेटा सत्यापन के लिए पार्टियों को जानकारी देने की योजना बनाई है।


विपक्षी दलों के सवाल

बिहार में नई वोटर लिस्ट को लेकर विपक्षी दल चुनाव आयोग पर सवाल उठा रहे हैं। वे चिंतित हैं कि क्या गरीब, मजदूर और किसानों के वोट काट दिए जाएंगे। इसके अलावा, उन्होंने यह भी पूछा है कि यदि किसी भारतीय का वोट कट गया तो क्या होगा। चुनाव आयोग ने इन सवालों के जवाब देने का आश्वासन दिया है।