प्रधानमंत्री मोदी ने आपातकाल की याद दिलाते हुए लोकतंत्र की रक्षा का आह्वान किया

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने 79वें स्वतंत्रता दिवस पर लाल किले से अपने संबोधन में आपातकाल की 50वीं वर्षगांठ पर लोकतंत्र की हत्या की याद दिलाई। उन्होंने कहा कि हर पीढ़ी को इस काले अध्याय को नहीं भूलना चाहिए और संविधान के प्रति अपनी प्रतिबद्धता को मजबूत करना चाहिए। जानें उनके विचार और संदेश के मुख्य बिंदु।
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प्रधानमंत्री मोदी ने आपातकाल की याद दिलाते हुए लोकतंत्र की रक्षा का आह्वान किया

आपातकाल की 50वीं वर्षगांठ पर प्रधानमंत्री का संदेश

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शुक्रवार को एक महत्वपूर्ण बयान में कहा कि देश की हर पीढ़ी को यह याद रखना चाहिए कि आपातकाल के दौरान लोकतंत्र को किस तरह से नष्ट किया गया।


लाल किले की प्राचीर से 79वें स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर राष्ट्र को संबोधित करते हुए, मोदी ने बताया कि आपातकाल को लागू हुए अब 50 वर्ष हो चुके हैं।


उन्होंने कहा, ‘‘संविधान का उल्लंघन हुआ, हमें धोखा दिया गया, और हमारी पीठ में छुरा घोंपा गया... भारत को एक जेल में तब्दील कर दिया गया और आपातकाल लागू किया गया।’’


मोदी ने आगे कहा, ‘‘आपातकाल के इस काले अध्याय को किसी भी पीढ़ी को नहीं भूलना चाहिए। हमें उन लोगों को भी नहीं भूलना चाहिए जिन्होंने संविधान की हत्या की। हमें यह याद रखना चाहिए कि आपातकाल के दौरान लोकतंत्र को किस तरह से कुचला गया।’’


प्रधानमंत्री ने कहा, ‘‘हमें भारत के संविधान के प्रति अपनी प्रतिबद्धता को और मजबूत करते हुए आगे बढ़ना चाहिए।’’