पंजाब उपचुनाव: कांग्रेस ने करणबीर सिंह बुर्ज को उम्मीदवार बनाया

तरनतारन विधानसभा उपचुनाव की तैयारी

करणबीर सिंह बुर्ज
पंजाब के तरनतारन विधानसभा क्षेत्र में होने वाले उपचुनाव के लिए आम आदमी पार्टी, बीजेपी और शिरोमणि अकाली दल ने अपने उम्मीदवारों की घोषणा कर दी है। अब कांग्रेस ने भी अपने उम्मीदवार का नाम घोषित किया है। इस चुनाव में करणबीर सिंह बुर्ज कांग्रेस के प्रतिनिधि के रूप में मैदान में उतरेंगे।
कांग्रेस के अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने तरनतारन से करणबीर सिंह बुर्ज की उम्मीदवारी को मंजूरी दी है। यह सीट आम आदमी पार्टी के विधायक कश्मीर सिंह सोहल के निधन के बाद खाली हुई थी। निर्वाचन आयोग ने उपचुनाव की तारीख अभी तक नहीं बताई है, लेकिन सभी राजनीतिक दल चुनाव की तैयारियों में जुटे हुए हैं।
कांग्रेस ने करणबीर सिंह बुर्ज को दिया टिकट
पहले यह चर्चा थी कि अकाली दल छोड़कर कांग्रेस में शामिल हुए पूर्व मंत्री अनिल जोशी को टिकट दिया जा सकता है, लेकिन पार्टी के कुछ वरिष्ठ नेता जोशी के खिलाफ हैं। इस कारण कांग्रेस ने करणबीर सिंह बुर्ज को चुनावी मैदान में उतारने का निर्णय लिया है। करणबीर सिंह पहले कांग्रेस के किसान सेल के उपाध्यक्ष रह चुके हैं। इसके अलावा, प्रताप सिंह बाजवा के साथ उनकी करीबी संबंधों की भी चर्चा है।
AAP ने हरमीत सिंह संधू को बनाया उम्मीदवार
तरनतारन उपचुनाव को विधानसभा चुनाव से पहले की महत्वपूर्ण राजनीतिक लड़ाई माना जा रहा है। आम आदमी पार्टी ने पूर्व विधायक और अकाली दल के वरिष्ठ नेता हरमीत सिंह संधू को अपना उम्मीदवार बनाया है। पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान ने हाल ही में एक जनसभा में संधू का नाम घोषित किया था। संधू का राजनीतिक आधार मजबूत है, और उन्हें एक प्रभावशाली उम्मीदवार माना जा रहा है।
अकाली दल ने सुखविंदर कौर रंधावा को उतारा
अकाली दल ने भी इस सीट पर अपनी राजनीतिक स्थिति को मजबूत करने के लिए बीबी सुखविंदर कौर रंधावा को उम्मीदवार बनाया है। सुखबीर सिंह बादल के नेतृत्व में अकाली दल ने पिछले विधानसभा चुनावों में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी।
हरजीत सिंह संधू बीजेपी उम्मीदवार
किसान आंदोलन के बाद बीजेपी भी पंजाब में अपने राजनीतिक आधार को मजबूत करने की कोशिश कर रही है। तरनतारन की सीट उसके लिए एक चुनौती है, क्योंकि यह सिख बहुल क्षेत्र है। बीजेपी ने स्थानीय नेता हरजीत सिंह संधू को अपना उम्मीदवार बनाया है, जो केंद्रीय अल्पसंख्यक आयोग के अध्यक्ष इकबाल सिंह लालपुरा के करीबी माने जाते हैं।