दिल्ली उच्च न्यायालय ने ऑटो और टैक्सी किराए पर कार्रवाई की मांग की

दिल्ली उच्च न्यायालय ने ऑटो रिक्शा और टैक्सी चालकों द्वारा किराए की वसूली से संबंधित 2023 की अधिसूचना के कार्यान्वयन पर राज्य सरकार से रिपोर्ट मांगी है। न्यायालय ने यह भी पूछा कि नियमों के उल्लंघन के लिए कितने चालान जारी किए गए हैं। यह सुनवाई वकील अनिल निमेश द्वारा दायर याचिका पर हो रही है, जिसमें अधिक किराया वसूलने का मुद्दा उठाया गया है। जानें इस मामले में और क्या जानकारी सामने आई है।
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दिल्ली उच्च न्यायालय ने ऑटो और टैक्सी किराए पर कार्रवाई की मांग की

दिल्ली उच्च न्यायालय का निर्देश

दिल्ली उच्च न्यायालय ने बुधवार को राज्य सरकार से यह जानकारी मांगी कि राष्ट्रीय राजधानी में ऑटो रिक्शा और टैक्सी चालकों द्वारा वसूले जाने वाले किराए से संबंधित 2023 की अधिसूचना को लागू करने के लिए क्या कदम उठाए गए हैं।


मुख्य न्यायाधीश देवेंद्र कुमार उपाध्याय और न्यायमूर्ति तुषार राव गेडेला की पीठ ने अधिकारियों से यह भी पूछा कि किराया वसूलते समय नियमों के उल्लंघन के लिए कितने चालान जारी किए गए हैं।


न्यायालय ने दिल्ली सरकार, परिवहन विभाग और उप पुलिस आयुक्त (यातायात) को नोटिस जारी करते हुए कहा कि वे उस याचिका पर वस्तुस्थिति रिपोर्ट प्रस्तुत करें, जिसमें सभी ऑटो रिक्शा चालकों के बीच सार्वजनिक आदेश को तुरंत या एक महीने के भीतर लागू करने का अनुरोध किया गया है।


पीठ ने कहा कि अपनी वस्तुस्थिति रिपोर्ट में यह बताएं कि कितने चालान जारी किए गए हैं, आपकी मानक संचालन प्रक्रिया क्या है, शिकायत निवारण तंत्र क्या है और दिल्ली सरकार के परिवहन विभाग द्वारा जारी नौ जनवरी, 2023 की अधिसूचना को लागू करने के लिए क्या कदम उठाए गए हैं।


यह सुनवाई वकील अनिल निमेश द्वारा दायर याचिका पर हो रही थी, जिसमें ऑटो रिक्शा चालकों द्वारा अधिक किराया वसूलने और मीटर के अनुसार किराया न लेने का मुद्दा उठाया गया था।