डोनाल्ड ट्रंप के शपथ ग्रहण समारोह में जयशंकर का विवाद: क्या सच है?

जयशंकर का शपथ ग्रहण समारोह में स्थान
डोनाल्ड ट्रंप ने अमेरिका के 47वें राष्ट्रपति के रूप में शपथ ली है। इस अवसर पर कैपिटल रोटुंडा में एक भव्य समारोह का आयोजन किया गया, जिसमें भारत सहित कई देशों के मेहमान शामिल हुए। भारत का प्रतिनिधित्व कर रहे विदेश मंत्री एस जयशंकर को पहले पंक्ति में स्थान दिया गया था। हालाँकि, सोशल मीडिया पर कुछ वीडियो साझा किए जा रहे हैं, जिनमें दावा किया जा रहा है कि उन्हें पीछे जाने के लिए कहा गया। आइए जानते हैं इस मामले की सच्चाई।
सोशल मीडिया पर वायरल वीडियो
समाजवादी पार्टी के नेता यासर शाह और अन्य उपयोगकर्ताओं ने एक वीडियो साझा किया है, जिसमें दावा किया गया है कि जयशंकर को राष्ट्रपति कार्यक्रम में पिछली पंक्ति में खड़े होने के लिए कहा गया था, और उन्होंने इसे अस्वीकार कर दिया। वीडियो के साथ लिखा गया है, 'क्या वह दुनिया के सबसे बड़े लोकतंत्र को और शर्मिंदा करेंगे?'
इस समारोह का एक वीडियो भी उपलब्ध है, जिसमें JCCIC का उल्लेख है, जो जॉइंट कांग्रेशनल कमेटी ऑन इनॉग्युरल सेरेमनी का संक्षिप्त रूप है। इस समिति की आधिकारिक वेबसाइट पर समारोह का पूरा वीडियो उपलब्ध है।
JCCIC की भूमिका
अमेरिकी संविधान में JCCIC का उल्लेख किया गया है। यह समिति 1901 से अब तक राष्ट्रपति और उपराष्ट्रपति के उद्घाटन समारोह की जिम्मेदारी संभालती आ रही है। पहले राष्ट्रपति विलियम मैकिन्ले के शपथ ग्रहण समारोह की योजना भी इसी समिति द्वारा बनाई गई थी।
वीडियो की सच्चाई
जयशंकर के बारे में किए जा रहे दावों के साथ जो वीडियो साझा किया जा रहा है, वह 7 घंटे 40 मिनट 55 सेकंड की स्ट्रीमिंग में केवल 3 घंटे 9 मिनट 15 सेकंड तक का है।
वीडियो के 3:08:09 पर, एक महिला कैमरा पर्सन एस जयशंकर के सामने पहुंच जाती है।
3:08:49 पर, दूसरी तरफ की तीसरी पंक्ति में एक महिला कैमरा पर्सन के पास जाती है।
3:08:53 पर, वह भारतीय विदेश मंत्री के सामने मौजूद कैमरा पर्सन के कंधे पर हाथ रखकर उन्हें पीछे जाने के लिए कहती है।
3:09:18 पर, महिला का आदेश सुनकर कैमरा पर्सन पीछे चली जाती है।