झारखंड में सामूहिक बलात्कार की घटना: पीड़िता की आत्महत्या से बढ़ी चिंता

झारखंड में एक विवाहिता और उसकी 14 वर्षीय भतीजी के साथ सामूहिक बलात्कार की घटना ने स्थानीय समुदाय में आक्रोश पैदा कर दिया है। घटना के बाद पीड़िता ने आत्महत्या कर ली, जिससे पुलिस की लापरवाही और संवेदनहीनता पर सवाल उठने लगे हैं। जांच के बाद आरोपियों के खिलाफ FIR दर्ज की गई, लेकिन वे अभी भी फरार हैं। जानें इस मामले की पूरी कहानी और स्थानीय लोगों की प्रतिक्रिया।
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झारखंड में सामूहिक बलात्कार की घटना: पीड़िता की आत्महत्या से बढ़ी चिंता

सामूहिक बलात्कार की घटना का विवरण

झारखंड में सामूहिक बलात्कार की घटना: पीड़िता की आत्महत्या से बढ़ी चिंता


नई दिल्ली: झारखंड में एक 25 वर्षीय विवाहित महिला और उसकी 14 वर्षीय भतीजी के साथ 7 नवंबर को तीन युवकों ने जंगल में सामूहिक बलात्कार किया। इस घटना के बाद आरोपियों ने दोनों को जान से मारने की धमकी दी। इस अपमान और डर के कारण, महिला ने उसी रात अपने घर लौटते ही आत्महत्या कर ली।


अगले दिन (8 नवंबर) को उसका शव कोठरी में लटका हुआ पाया गया। उसके पति, जो मजदूरी के लिए जबलपुर गए थे, ने बिना पूछे अंतिम संस्कार कर दिया। जब नाबालिग भतीजी से बात की गई, तो उसने पूरी घटना का खुलासा किया। परिवार ने तुरंत सनावल थाने में शिकायत दर्ज कराई, लेकिन पुलिस ने न तो FIR दर्ज की और न ही कोई कार्रवाई की।


परिवार के सदस्यों ने नवंबर में रायपुर रेंज के IG से शिकायत की। IG के आदेश पर जांच की गई, जिसमें नाबालिग के साथ बलात्कार की पुष्टि हुई। इसके बाद दो अलग-अलग FIR दर्ज की गईं। पुलिस की लापरवाही के कारण IG ने सनावल थाने के ASI को निलंबित कर दिया और थाना प्रभारी SI को लाइन अटैच कर दिया।


आरोपी झारखंड के कुसुमियादामर गांव के सैयद अली (21 वर्ष), फैयाज अंसारी (22 वर्ष) और सोनू अंसारी (30 वर्ष) हैं। फिलहाल, तीनों फरार हैं और पुलिस उनकी तलाश कर रही है। यह मामला पुलिस की संवेदनहीनता और कार्रवाई में देरी का गंभीर उदाहरण बन गया है, जिससे स्थानीय लोगों में भारी गुस्सा है।