जनमाष्टमी पर सुनें ये अद्भुत कृष्ण भजन

जनमाष्टमी के अवसर पर, हम कुछ अद्भुत और अनसुने कृष्ण भजनों की खोज में हैं। ये भजन न केवल अपनी मधुर धुनों के लिए जाने जाते हैं, बल्कि इनमें भगवान कृष्ण की दिव्यता और शरारत का जादू भी छिपा है। इस लेख में, हम उन भजनों पर ध्यान केंद्रित करेंगे जो हिंदी सिनेमा में कभी सही पहचान नहीं पा सके। आइए, इन दुर्लभ रत्नों को फिर से सुनें और उनके जादुई अनुभव का आनंद लें।
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जनमाष्टमी पर सुनें ये अद्भुत कृष्ण भजन

भजन जो आपने शायद नहीं सुने

जनमाष्टमी के अवसर पर जब हम कृष्ण भजनों की बात करते हैं, तो अक्सर हमारे मन में प्रसिद्ध भजन जैसे 'यशोमती मैया से बोले नंदलाला' या 'बड़ा नटखट है रे कृष्ण कन्हैया' आते हैं। लेकिन हिंदी सिनेमा के आर्काइव में कई ऐसे अनदेखे कृष्ण भजन छिपे हुए हैं, जो अपनी मधुर धुनों और कालातीत आकर्षण के बावजूद कभी भी सही पहचान नहीं पा सके। इस जनमाष्टमी, आइए हम कुछ दुर्लभ और भूले-बिसरे गीतों को फिर से खोजें जो भगवान कृष्ण की दिव्यता, शरारत और जादू को एक नए तरीके से प्रस्तुत करते हैं।


कन्हैया कन्हैया कोई मुरली की तान सुना दे (राजा और रंक): यह गाना 10 मिनट और 27 सेकंड लंबा है, और यह हिंदी फिल्म का सबसे लंबा गाना है। 'कन्हैया कन्हैया' एक ऑडियो बैले है जहां सत्यभामा और रुक्मिणी भगवान कृष्ण का ध्यान आकर्षित करने के लिए प्रतिस्पर्धा करती हैं। लता जी ने दोनों महिलाओं के लिए गाया है। उनकी आवाज़ की गुणवत्ता में जो अंतर है, वह सुनने के लिए एक मास्टरक्लास है। मन्ना डे ने नारद मुनि के रूप में खेल-खेल में गाया है। यह कृष्ण भजन लक्ष्मीकांत-प्यारे लाल द्वारा रचित एक महाकाव्य रचना है।


बिनती करूँ घनश्याम (पति पत्नी): यह राहुल देव बर्मन का एक प्रारंभिक साउंडट्रैक है, जो मुख्य रूप से राग जोगिया पर आधारित इस मधुर कृष्ण भजन के लिए याद किया जाता है। आर.डी. ने बार-बार यह अफसोस जताया कि उनके कई प्रारंभिक शास्त्रीय गाने या तो भुला दिए गए या उनके पिता सचिन देव बर्मन को गलत तरीके से श्रेय दिया गया। 'बिनती करूँ घनश्याम' एक अद्भुत धुन है, जो अपनी जटिलता के कारण कठिनाई में है।


कन्हा बोले ना पूछू बार-बार कन्हा बोले ना (संगत): लता मंगेशकर ने अपने करियर में कई उत्कृष्ट कृष्ण भजन गाए हैं, लेकिन यह सबसे कम आंका गया है। इस गाने के संगीतकार महान सलील चौधरी थे और यह एक अप्रकाशित फिल्म 'संगत' का हिस्सा है। 'कन्हा बोले ना' सलील चौधरी की महान रचनाओं में से एक है।


कन्हा रे कन्हा तूने लाखों रास रचाए (ट्रक ड्राइवर): यह गाना 'ट्रक ड्राइवर' नामक फिल्म का हिस्सा है, जो अपने समय में एक सुंदर कृष्ण भजन है। 1970 के दशक में, भले ही फिल्में साधारण थीं, लेकिन उनमें अमर धुनें होती थीं। यह गाना लता जी के कृष्ण भजनों में एक अनमोल रत्न है।


मुझको भी राधा बना ले नंदलाल (अंकही): आशा भोसले ने इस अद्भुत कृष्ण भजन में अद्वितीय स्वर में गाया है। इस गाने में एक महिला की पूर्णता की इच्छा व्यक्त की गई है।