चुनाव आयोग का बिहार में विशेष पुनरीक्षण पर विपक्ष को चुनौती
भारत के चुनाव आयोग ने बिहार में चल रहे विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) का समर्थन करते हुए विपक्षी दलों से आग्रह किया है कि वे राजनीतिक विचारधाराओं से परे जाकर सोचें। आयोग ने सवाल उठाया है कि क्या मृत और प्रवासी मतदाताओं के नाम पर फर्जी वोट डालने की अनुमति दी जानी चाहिए। इसके अलावा, आयोग ने प्रामाणिक मतदाता सूची के महत्व पर भी जोर दिया है। इस बीच, विपक्षी दलों ने एसआईआर प्रक्रिया का विरोध जारी रखा है, आरोप लगाते हुए कि इसके तहत मतदाता सूची में हेराफेरी की जा रही है।
Jul 24, 2025, 13:05 IST
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चुनाव आयोग का बयान
भारत के चुनाव आयोग (ईसीआई) ने गुरुवार को बिहार में चल रहे विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) की प्रक्रिया का समर्थन करते हुए विपक्षी दलों से आग्रह किया कि वे राजनीतिक विचारधाराओं से परे जाकर सोचें। आयोग ने एक बयान में सवाल उठाया कि क्या मृत और प्रवासी मतदाताओं के नाम पर फर्जी वोट डालने की अनुमति दी जानी चाहिए। उन्होंने कहा कि भारतीय संविधान लोकतंत्र का आधार है। क्या आयोग को कुछ लोगों के प्रभाव में आकर, बिहार और फिर पूरे देश में संविधान के खिलाफ जाकर, मृत मतदाताओं, स्थायी रूप से प्रवासी मतदाताओं, दो स्थानों पर पंजीकृत मतदाताओं, फर्जी मतदाताओं या विदेशी मतदाताओं के नाम पर फर्जी वोट डालने का रास्ता खोलना चाहिए?
प्रामाणिक मतदाता सूची का महत्व
ईसीआई ने यह भी पूछा कि क्या एक सटीक मतदाता सूची का निर्माण देश में निष्पक्ष चुनावों की नींव नहीं है। क्या चुनाव आयोग द्वारा पारदर्शी प्रक्रिया से बनाई गई प्रामाणिक मतदाता सूची, निष्पक्ष चुनावों और मजबूत लोकतंत्र की आधारशिला नहीं है? आयोग ने नागरिकों से अपनी राजनीतिक विचारधाराओं को दरकिनार करते हुए इन मुद्दों पर विचार करने का आग्रह किया। आयोग ने कहा कि हमें सभी को, और भारत के सभी नागरिकों को, राजनीतिक विचारधाराओं से परे जाकर गहराई से सोचना होगा। शायद यह चिंतन का सही समय अब आ गया है।
विपक्ष का विरोध
यह बयान बिहार में एसआईआर प्रक्रिया के खिलाफ हो रहे विरोध और आलोचना के संदर्भ में आया है। आज, इंडिया ब्लॉक ने लगातार चौथे दिन बिहार में चल रही एसआईआर प्रक्रिया का विरोध किया। विपक्षी दलों ने मानसून सत्र की शुरुआत से ही हर दिन स्थगन प्रस्ताव पेश करते हुए, इस संशोधन प्रक्रिया पर लोकसभा और राज्यसभा में चर्चा की मांग की है और आरोप लगाया है कि एसआईआर के तहत मतदाता सूची में हेराफेरी की जा रही है।