खरगे के संघ पर प्रतिबंध के बयान पर होसबाले का तीखा जवाब
संघ पर प्रतिबंध के बयान पर खरगे को करारा जवाब

कांग्रेस के अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे द्वारा राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ पर प्रतिबंध लगाने की मांग पर संघ के सरकार्यवाह दत्तात्रेय होसबाले ने शनिवार को कड़ा जवाब दिया। उन्होंने कहा कि कांग्रेस पहले भी संघ पर प्रतिबंध लगाने की कोशिश कर चुकी है, और यदि चाहें तो चौथी बार भी ऐसा कर सकती हैं।
शताब्दी वर्ष के कार्यक्रमों में 32.45 लाख स्वयंसेवकों की सहभागिता
जबलपुर में संघ की अखिल भारतीय कार्यकारी मंडल बैठक के समापन पर पत्रकारों से बातचीत करते हुए श्री होसबाले ने बताया कि विजयादशमी पर संघ के शताब्दी वर्ष के कार्यक्रमों में देशभर से स्वयंसेवकों की बड़ी संख्या में भागीदारी हुई। उन्होंने कहा कि इस अवसर पर 62,555 कार्यक्रम आयोजित किए गए, जिनमें 32.45 लाख गणवेशधारी स्वयंसेवक शामिल हुए। इसके अलावा, 25 हजार स्थानों पर हुए पथ संचलनों में 25.45 लाख स्वयंसेवकों ने भाग लिया।
संघ का कार्यक्रम हर क्षेत्र में हुआ
उन्होंने बताया कि संघ के कार्यक्रम देश के सभी भौगोलिक क्षेत्रों में आयोजित किए गए, जिसमें अंडमान, लद्दाख, अरुणाचल, मेघालय और नागालैंड जैसे दूरदराज के स्थान भी शामिल थे। ग्रामीण क्षेत्रों में 59,343 मंडलों में से 37,250 मंडलों में कार्यक्रम आयोजित किए गए, जबकि नगरीय क्षेत्रों में 44,686 बस्तियों में से 40,220 बस्तियों ने भाग लिया। इसके अतिरिक्त, 6,700 विजयादशमी उत्सव भी मनाए गए।
संघ को समाज ने स्वीकार किया है
श्री होसबाले ने कहा कि कांग्रेस ने संघ को प्रतिबंधित करने के प्रयास किए, लेकिन हर बार अदालतों ने इसे असंवैधानिक ठहराया। उन्होंने कहा कि संघ को समाज ने स्वीकार किया है और यह संगठन देश की एकता, सुरक्षा और सांस्कृतिक पहचान के लिए निरंतर कार्यरत है। कांग्रेस को यह स्पष्ट करना चाहिए कि इसके पीछे की वास्तविक मंशा क्या है।
‘वंदे मातरम्’ भारत की आत्मा का प्रतीक
उन्होंने राष्ट्रगीत ‘वंदे मातरम्’ को भारत की आत्मा और राष्ट्रीय चेतना का प्रतीक बताया। श्री होसबाले ने कहा कि यह गीत देश की सांस्कृतिक पहचान और देशभक्ति का सशक्त प्रतीक है। उन्होंने सभी से आह्वान किया कि इस गीत की प्रेरणा को अपने हृदय में जागृत करते हुए राष्ट्र निर्माण में सक्रिय भागीदारी करें।
नशे और नक्सलवाद पर चिंता
दत्तात्रेय होसबाले ने पंजाब समेत देश के विभिन्न हिस्सों में नशे के बढ़ते कारोबार पर चिंता व्यक्त की। उन्होंने कहा कि आज कई शिक्षा संस्थानों में पढ़ने वाले बच्चों तक ड्रग्स पहुँचाई जा रही हैं। इसे रोकने के लिए समाज को आगे आना होगा।
मणिपुर की स्थिति पर उन्होंने कहा कि अब हालात में सुधार आया है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वहां कई बार जाकर पुनर्निर्माण और आपसी विश्वास बहाली का कार्य किया है।
छत्तीसगढ़ और झारखंड में नक्सल गतिविधियों पर उन्होंने कहा कि लोकतंत्र में हिंसा का रास्ता कभी सही नहीं हो सकता। अब नक्सली आत्मसमर्पण कर रहे हैं।
पश्चिम बंगाल की स्थिति पर उन्होंने कहा कि वहां का माहौल चिंताजनक है। राज्य का नेतृत्व नफरत फैला रहा है, जो देश के लिए हानिकारक है। संघ इसे रोकने का हरसंभव प्रयास कर रहा है।
