केंद्र सरकार के कर्मचारियों के लिए 8वें वेतन आयोग की संभावित घोषणा

8वें वेतन आयोग की संभावनाएँ
केंद्र सरकार के कर्मचारियों और पेंशनभोगियों के लिए एक महत्वपूर्ण अपडेट सामने आ सकता है। इस महीने 8वें वेतन आयोग के टर्म्स ऑफ रेफरेंस (ToR) जारी होने की उम्मीद है। यदि ऐसा होता है, तो लाखों कर्मचारियों और पेंशनधारकों की वेतन और पेंशन संरचना में महत्वपूर्ण परिवर्तन देखने को मिल सकते हैं। यही कारण है कि 8वें वेतन आयोग के बारे में चर्चा तेज हो गई है और सभी की नजरें सरकार के अगले कदम पर हैं।
डिटेल्स क्या हैं?
नेशनल ज्वाइंट काउंसिल कंसल्टेटिव मशीनरी (एनसी-जेसीएम) के कर्मचारी पक्ष के सचिव शिव गोपाल मिश्रा ने एक मीडिया चैनल को बताया कि, "हमें उम्मीद है कि सरकार जल्द ही संदर्भ की शर्तों (टीओआर) पर मंजूरी देगी। हमें विश्वास है कि इसी महीने तक इसकी स्वीकृति मिल जाएगी, लेकिन अभी कुछ निश्चित नहीं कहा जा सकता।" एनसी-जेसीएम, नौकरशाहों और कर्मचारी संघ के प्रतिनिधियों का एक समूह है, जो केंद्र सरकार और उसके कर्मचारियों के बीच विवादों को बातचीत के माध्यम से सुलझाने का कार्य करता है।
ToR का महत्व
टर्म्स ऑफ रेफरेंस (ToR) एक ऐसा दस्तावेज है, जिसमें आयोग को यह निर्देशित किया जाता है कि उसे किन मुद्दों पर अध्ययन और सिफारिश करनी है। इसमें बेसिक वेतन, फिटमेंट फैक्टर, पेंशन, भत्ते और अन्य सुविधाओं से संबंधित बिंदु शामिल होते हैं। जैसे ही ToR जारी होगा, आयोग आधिकारिक रूप से अपने कार्य की शुरुआत करेगा।
वेतन में संभावित वृद्धि
रिपोर्टों के अनुसार, यदि फिटमेंट फैक्टर 2.46 पर निर्धारित किया जाता है, तो कर्मचारियों के वेतन में लगभग 30-34% की वृद्धि हो सकती है। वहीं, यदि यह 1.8 पर सीमित रहता है, तो वेतन में केवल 13% की वृद्धि होगी। इस प्रकार, लाखों केंद्रीय कर्मचारियों को एक बड़ी वेतन वृद्धि की उम्मीद है, लेकिन अंतिम निर्णय आयोग और सरकार पर निर्भर करेगा।
यदि अगस्त में ToR जारी किया जाता है, तो आयोग की रिपोर्ट 2026 तक आ सकती है। हालांकि, 7वें वेतन आयोग की तरह इसमें भी देरी हो सकती है, जिससे कर्मचारियों को नए वेतनमान के लाभ 2027-28 तक मिल सकते हैं। इस स्थिति में कर्मचारियों को न केवल बेसिक वेतन में वृद्धि का लाभ मिलेगा, बल्कि डीए, एचआरए और पेंशन में भी बढ़ोतरी देखने को मिलेगी।