आठवें वेतन आयोग की पेंशन वृद्धि की संभावनाएं और कैल्कुलेशन
आठवें वेतन आयोग का इंतजार
केंद्रीय कर्मचारियों को आठवें वेतन आयोग की सिफारिशों के लागू होने का बेसब्री से इंतजार है। इस नए आयोग के तहत कर्मचारियों की सैलरी के साथ-साथ पेंशन में भी महत्वपूर्ण वृद्धि की उम्मीद की जा रही है। सरकारी पेंशनभोगी पोर्टल के अनुसार, 30 अक्टूबर 2025 तक 68.72 लाख पेंशनभोगी हैं, जिनमें नागरिक, रक्षा, दूरसंचार, रेलवे और डाक विभाग के कर्मचारी शामिल हैं। आइए जानते हैं कि पेंशन का कैल्कुलेशन कैसे किया जा सकता है।
फिटमेंट फैक्टर का महत्व
पेंशन में वृद्धि की मात्रा तय करने में फिटमेंट फैक्टर की महत्वपूर्ण भूमिका होती है। किसी भी वेतन आयोग में वेतन और पेंशन में वृद्धि के लिए यह एक गुणक के रूप में कार्य करता है। सातवें वेतन आयोग के लिए इसे 2.57 पर निर्धारित किया गया था, जिसका अर्थ है कि सरकारी कर्मचारियों का मूल वेतन उनकी मूल पेंशन की तुलना में 2.57 गुना बढ़ गया। आठवें वेतन आयोग के लिए फिटमेंट फैक्टर का निर्धारण तब होगा जब केंद्रीय मंत्रिमंडल आयोग की सिफारिशों पर मुहर लगाएगा। यदि सरकार फिटमेंट फैक्टर को बढ़ाती है (जैसे 2.57 से 3.0 या 3.68), तो पेंशनभोगियों की मूल पेंशन में दोगुना तक वृद्धि हो सकती है।
आयोग का गठन और कार्य
हाल ही में, केंद्र सरकार ने आठवें केंद्रीय वेतन आयोग के गठन से संबंधित नियमों और शर्तों को मंजूरी दी है। आयोग 18 महीने में अपनी अंतिम रिपोर्ट प्रस्तुत करेगा, लेकिन इसकी सिफारिशें एक जनवरी, 2026 से प्रभावी होने की संभावना है। उच्चतम न्यायालय की सेवानिवृत्त न्यायाधीश रंजना प्रकाश देसाई को आयोग का अध्यक्ष बनाया गया है। आयोग समय-समय पर अंतरिम रिपोर्ट भी प्रस्तुत करेगा।
सरकार ने न्यायमूर्ति देसाई को आयोग का प्रमुख नियुक्त करने के साथ ही भारतीय प्रबंध संस्थान (आईआईएम), बेंगलूर के प्रोफेसर पुलक घोष को अंशकालिक सदस्य और पेट्रोलियम सचिव पंकज जैन को सदस्य-सचिव बनाने का निर्णय लिया है। यह आयोग केंद्रीय कर्मचारियों के वेतन, भत्तों और सेवा-शर्तों में बदलाव की सिफारिश करेगा, जिसमें रक्षा सेवाओं के कर्मचारी और पेंशनभोगी भी शामिल होंगे।
