असम से 37 अवैध बांग्लादेशियों की वापसी, मुख्यमंत्री का सख्त संदेश

असम के मुख्यमंत्री हिमंत विश्व शर्मा ने मंगलवार को 37 अवैध बांग्लादेशियों को वापस भेजने की घोषणा की। उन्होंने कहा कि सभी घुसपैठियों के साथ इसी तरह का व्यवहार किया जाएगा। असम पुलिस ने भी एक बांग्लादेशी नागरिक को अवैध रूप से भारत में घुसने के आरोप में गिरफ्तार किया। बांग्लादेश के साथ असम की सीमा पर सुरक्षा व्यवस्था को मजबूत किया गया है। जानें इस अभियान के बारे में और क्या कदम उठाए जा रहे हैं।
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असम से 37 अवैध बांग्लादेशियों की वापसी, मुख्यमंत्री का सख्त संदेश

मुख्यमंत्री का बयान

असम के मुख्यमंत्री हिमंत विश्व शर्मा ने मंगलवार को जानकारी दी कि 37 अवैध बांग्लादेशियों को असम से वापस भेजा गया है।


उन्होंने कहा कि सभी घुसपैठियों के साथ इसी तरह का व्यवहार किया जाएगा।


शर्मा ने 'एक्स' पर एक पोस्ट में लिखा, 'अलविदा घुसपैठियों, असम में आपका समय समाप्त। 37 अवांछित मेहमानों को श्रीभूमि सेक्टर से उनके देश बांग्लादेश भेज दिया गया है।'


तस्वीरें साझा की गईं

मुख्यमंत्री ने पुरुषों, महिलाओं और बच्चों की धुंधली तस्वीरें भी साझा कीं।


उन्होंने आगे कहा, 'सभी को पहले ही बता दूं - सभी अवांछित मेहमानों के साथ यही बर्ताव किया जाएगा।'


हालांकि, यह स्पष्ट नहीं हो पाया है कि यह अभियान कब चलाया गया।


शर्मा ने पहले कहा था कि उनकी सरकार राज्य को घुसपैठ मुक्त बनाने के लिए प्रतिबद्ध है और हर सप्ताह कम से कम 35-40 लोगों को वापस भेजा जा रहा है।


असम पुलिस की कार्रवाई

इससे पहले, असम पुलिस ने एक सक्रिय अभियान में मंगलवार रात करीमगंज ज़िले में घुसपैठ की कोशिश को नाकाम कर दिया।


एक बांग्लादेशी नागरिक, मुस्तकीन इस्लाम, को अवैध रूप से भारत में घुसने के आरोप में गिरफ्तार किया गया।


उसे सीमा बाड़ पार करने के बाद हिरासत में लिया गया और पूछताछ के बाद उसे बांग्लादेश वापस भेज दिया गया।


सीमा सुरक्षा

बांग्लादेश के साथ असम की सीमा 276.5 किलोमीटर लंबी है, जिसमें बराक घाटी के कछार और करीमगंज ज़िले तथा निचले असम के धुबरी और दक्षिण सलमारा-मनकाचर ज़िले शामिल हैं।


यहां घुसपैठ की कोशिशों के खिलाफ कड़ी सुरक्षा व्यवस्था की गई है।