संजय राउत ने भाजपा पर गंभीर आपराधिक पृष्ठभूमि के लोगों को शामिल करने का आरोप लगाया

शिवसेना नेता संजय राउत ने भाजपा पर गंभीर आपराधिक पृष्ठभूमि वाले लोगों को पार्टी में शामिल करने का आरोप लगाया है। उन्होंने मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस से सरकार को भंग करने और राज्य में राष्ट्रपति शासन लागू करने की मांग की। राउत ने विधान भवन में हुई हाथापाई की घटना को गैंगवार करार दिया और भाजपा की राजनीतिक संस्कृति पर सवाल उठाए। इस विवाद में राउत ने राज्यपाल से भी हस्तक्षेप की अपील की है।
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संजय राउत ने भाजपा पर गंभीर आपराधिक पृष्ठभूमि के लोगों को शामिल करने का आरोप लगाया

संजय राउत की भाजपा पर तीखी आलोचना

शिवसेना के नेता संजय राउत ने शुक्रवार को महाराष्ट्र विधान भवन में हुई हाथापाई की घटना पर भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की कड़ी निंदा की। उन्होंने आरोप लगाया कि भाजपा में गंभीर आपराधिक पृष्ठभूमि वाले व्यक्तियों को शामिल किया जा रहा है।


पत्रकारों से बातचीत करते हुए राउत ने सुझाव दिया कि मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस को अपनी सरकार को भंग कर देना चाहिए और राज्य में राष्ट्रपति शासन लागू करने की आवश्यकता है।


गौरतलब है कि भाजपा विधायक गोपीचंद पडलकर और राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) के विधायक जितेंद्र आव्हाड के समर्थकों के बीच बृहस्पतिवार को विधान भवन परिसर में झड़प हुई थी। इस घटना के वीडियो में दोनों पक्षों के बीच संघर्ष और सुरक्षाकर्मियों द्वारा उन्हें अलग करने के दृश्य दिखाई दिए।


राउत ने कहा कि यह घटना विधान भवन में एक गैंगवार की तरह थी, जिसमें हत्या और डकैती जैसे गंभीर अपराधों में शामिल लोग मौजूद थे। उन्होंने यह भी कहा कि भाजपा में आपराधिक पृष्ठभूमि वाले लोगों का शामिल होना एक नियमित बात बन गई है।


उन्होंने सवाल उठाया, 'क्या यही राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) और भाजपा की संस्कृति है? क्या आपराधिक पृष्ठभूमि वाले लोगों को पार्टी में शामिल करना उचित है?'


राउत ने आगे कहा कि शिवसेना-उद्धव बालासाहेब ठाकरे (उबाठा) का मानना है कि राज्य में राष्ट्रपति शासन लागू होना चाहिए। यह स्थिति न केवल दुर्भाग्यपूर्ण है, बल्कि महाराष्ट्र की राजनीतिक संस्कृति के लिए शर्मनाक भी है।


राज्यसभा सांसद ने फडणवीस की आलोचना करते हुए उन्हें याद दिलाया कि उन्होंने राज्य की राजनीतिक संस्कृति की गरिमा बनाए रखने का वादा किया था। उन्होंने कहा कि हर दिन महाराष्ट्र की छवि पर एक नया धब्बा लग रहा है, चाहे वह भ्रष्टाचार हो या अनैतिक व्यवहार।


उन्होंने यह भी कहा कि यदि महाराष्ट्र में कोई अन्य पार्टी सत्ता में होती, तो फडणवीस पहले ही सरकार को भंग करने की मांग करते। आत्ममंथन करने पर उन्हें एहसास होगा कि उनकी सरकार को भंग करने की आवश्यकता है।


राउत ने राज्यपाल से आग्रह किया कि यदि वे वास्तव में कानून के संरक्षक हैं, तो गृह विभाग से रिपोर्ट मांगें और राज्य में राष्ट्रपति शासन की सिफारिश करें। उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि सत्ताधारी गठबंधन विधानसभा में विपक्ष के नेता का पद नहीं चाहता ताकि महत्वपूर्ण मुद्दों पर चर्चा न हो सके।


अंत में, राउत ने यह भी कहा कि विधान भवन में वाहनों में हथियार लाए गए थे और राकांपा विधायक जितेंद्र आव्हाड पर हमले की साजिश रची गई थी।