CJI गवई ने हमले की कोशिश पर तोड़ी चुप्पी, कहा 'यह एक भुला दिया गया अध्याय है'

भारत के मुख्य न्यायाधीश बीआर गवई ने हाल ही में अपने ऊपर हुए हमले की कोशिश पर अपनी चुप्पी तोड़ी। उन्होंने इसे एक भुला दिया गया अध्याय बताया और इस घटना से संबंधित अपने विचार साझा किए। जस्टिस भुइयां और वरिष्ठ अधिवक्ता गोपाल शंकरनारायण ने भी इस मामले पर चर्चा की। जानें इस महत्वपूर्ण घटना के बारे में और क्या कहा गया।
 | 
CJI गवई ने हमले की कोशिश पर तोड़ी चुप्पी, कहा 'यह एक भुला दिया गया अध्याय है'

CJI गवई का बयान

CJI गवई ने हमले की कोशिश पर तोड़ी चुप्पी, कहा 'यह एक भुला दिया गया अध्याय है'

सीजेआई बीआर गवई.

मुख्य न्यायाधीश बीआर गवई ने हाल ही में अपने ऊपर हुए हमले की कोशिश के संदर्भ में अपनी चुप्पी तोड़ी। उन्होंने गुरुवार को एक सुनवाई के दौरान कहा कि सोमवार को हुई घटना ने उन्हें और उनके सहकर्मी को चौंका दिया। उन्होंने इसे एक भुला दिया गया अध्याय बताया। कोर्ट में उपस्थित वरिष्ठ अधिवक्ता गोपाल शंकरनारायण ने इस विषय पर एक लेख का उल्लेख किया, जिसमें उन्होंने पिछले 10 वर्षों में जस्टिस अरिजीत पसायत की कोर्ट में हुई घटनाओं का जिक्र किया था।

जस्टिस भुइयां ने इस पर अपनी राय व्यक्त करते हुए कहा कि यह मजाक का विषय नहीं है और उन्होंने इस मामले को संस्थान से संबंधित बताया। उन्होंने कहा कि न्यायाधीशों के रूप में कई बार ऐसे निर्णय लिए गए हैं, जिन्हें अन्य लोग सही नहीं मानते, लेकिन इससे उनकी राय में कोई बदलाव नहीं आता।

एसजी तुषार मेहता ने इस घटना को अक्षम्य बताया, लेकिन सीजेआई ने इसे एक भुला दिया गया अध्याय करार दिया।

खबर अपडेट की जा रही है…