दिल्ली में कार धमाके के बाद की स्थिति: 11 निर्दोषों की जान गई
दिल्ली धमाके का घटनाक्रम
दिल्ली में लगभग एक दशक बाद एक बड़ा धमाका हुआ है, जो 2011 में दिल्ली हाईकोर्ट की पार्किंग में हुए विस्फोट के बाद से सबसे गंभीर है। 10 नवंबर 2025 को लाल किला मेट्रो स्टेशन के निकट हुए इस धमाके ने न केवल दिल्ली बल्कि पूरे देश में दहशत फैला दी। इस हमले में आतंकी उमर सहित 11 निर्दोष लोगों की जान गई, और कई अन्य घायल हुए हैं।
इस घटना के कई वीडियो भी सामने आए हैं, और चार दिन बाद भी शवों के अवशेष मिल रहे हैं। केंद्र सरकार ने इस धमाके को आतंकवादी हमला मानते हुए बुधवार को कैबिनेट की बैठक में इस पर प्रस्ताव पारित किया। इसके बाद देशभर में 500 से अधिक स्थानों पर छापेमारी की गई।
धमाके की योजना और आतंकियों की गिरफ्तारी
धमाका सोमवार शाम लगभग 6:52 बजे लाल किला मेट्रो स्टेशन के पास हुआ, जिसमें I-20 कार का इस्तेमाल किया गया था। रिपोर्टों के अनुसार, यह विस्फोट जल्दबाजी में किया गया था, क्योंकि आतंकियों का असली लक्ष्य 6 दिसंबर को हमला करना था। पुलिस ने कई संदिग्धों को गिरफ्तार कर लिया था, जिससे आतंकियों में डर पैदा हुआ और उन्होंने जल्दी में हमला कर दिया।
इस हमले में शामिल आतंकियों का समूह फरीदाबाद की अल फलाह यूनिवर्सिटी से संचालित हो रहा था। अब तक कई डॉक्टरों को गिरफ्तार किया गया है, जिनमें से एक ने स्वीकार किया कि वह दो वर्षों से हमले की योजना बना रहा था।
गिरफ्तारियों का सिलसिला
दिल्ली में हुए इस धमाके के बाद से जांच एजेंसियां सक्रिय हो गई हैं। अब तक सैकड़ों लोगों से पूछताछ की गई है और 20 से अधिक लोगों को गिरफ्तार किया गया है। गिरफ्तारियों में दिल्ली, गुजरात, उत्तर प्रदेश और जम्मू-कश्मीर के लोग शामिल हैं। जम्मू-कश्मीर से 13 संदिग्धों को पकड़ा गया है।
इनमें तारिक, आमिर, उमर, डॉ. सज्जाद, आरिफ, यासिर, मकसूद, इरफान और जमीर शामिल हैं। उत्तर प्रदेश के सहारनपुर से डॉ. अदील रईस और लखनऊ से डॉ. परवेज को भी गिरफ्तार किया गया है।
लाल किला मेट्रो स्टेशन की सुरक्षा
दिल्ली मेट्रो रेल कॉर्पोरेशन (डीएमआरसी) ने सुरक्षा कारणों से लाल किला मेट्रो स्टेशन को अगली सूचना तक बंद करने का निर्णय लिया है। इस स्टेशन पर प्रवेश और निकासी अस्थायी रूप से निलंबित कर दी गई है।
प्रधानमंत्री मोदी का दौरा
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार को भूटान से लौटने के बाद LNJP अस्पताल जाकर धमाके में घायल लोगों का हालचाल लिया। उन्होंने डॉक्टरों से बात की और कहा कि साजिश करने वालों को बख्शा नहीं जाएगा।
धमाके की जांच में नई जानकारियाँ
लाल किला के पास हुए धमाके में यह भी पता चला है कि जिस कार का इस्तेमाल किया गया, उसे कई बार खरीदा और बेचा गया था। आतंकियों ने इस हमले के लिए दो वर्षों तक विस्फोटक इकट्ठा किया था। उनकी योजना फरीदाबाद की अल फलाह यूनिवर्सिटी में बनाई गई थी।
उमर के परिवार की प्रतिक्रिया
उमर के परिवार ने स्वीकार किया है कि उन्हें अपने बेटे के कट्टरपंथी बनने की जानकारी थी, लेकिन उन्होंने सुरक्षा एजेंसियों को इस बारे में कोई सूचना नहीं दी।
