पृथ्वीराज सुकुमारन की पत्नी ने अंतिम संस्कार पर नाराजगी जताई

पृथ्वीराज सुकुमारन की पत्नी सुप्रिया मेनन ने हाल ही में श्रीनिवासन के अंतिम संस्कार के दौरान लोगों द्वारा सेल्फी और वीडियो लेने पर नाराजगी जताई। उन्होंने सोशल मीडिया पर एक भावुक पोस्ट साझा किया, जिसमें उन्होंने शोक मनाने के लिए परिवार को शांति का हक देने की अपील की। सुप्रिया ने कहा कि आजकल हर पल एक तमाशा बन गया है, और यह बेहद दुखद है कि शोक के समय में भी लोग कैमरे के पीछे होते हैं। जानें उनके विचार और इस संवेदनशील मुद्दे पर उनका दृष्टिकोण।
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पृथ्वीराज सुकुमारन की पत्नी ने अंतिम संस्कार पर नाराजगी जताई

पृथ्वीराज सुकुमारन की पत्नी का बयान

पृथ्वीराज सुकुमारन की पत्नी ने अंतिम संस्कार पर नाराजगी जताई

पृथ्वीराज सुकुमारन की पत्नी सुप्रिया मेनन

पृथ्वीराज सुकुमारन की पत्नी: 20 दिसंबर को मलयालम फिल्म इंडस्ट्री में शोक का माहौल था, जब प्रसिद्ध अभिनेता-निर्देशक श्रीनिवासन का निधन हुआ। उनके निधन पर कई फिल्मी हस्तियों ने शोक व्यक्त किया। 21 दिसंबर को कोच्चि में उनका अंतिम संस्कार हुआ, जिसमें कई प्रमुख सितारों ने श्रद्धांजलि अर्पित की। इस दौरान, पृथ्वीराज सुकुमारन की पत्नी ने लोगों द्वारा वीडियो और फोटो लेने पर नाराजगी जताई।

श्रीनिवासन लंबे समय से बीमार थे और 69 वर्ष की आयु में उन्होंने अंतिम सांस ली। उनके अंतिम संस्कार के बाद, सुप्रिया मेनन ने सोशल मीडिया पर एक पोस्ट साझा किया, जिसमें उन्होंने लोगों के सेल्फी लेने और वीडियो बनाने पर आपत्ति जताई। उन्होंने कहा कि कैमरे के कारण श्रीनिवासन के परिवार को शोक मनाने का अवसर नहीं मिला।

सोशल मीडिया पर साझा किया गया पोस्ट

सुप्रिया ने अपने इंस्टाग्राम अकाउंट पर लिखा, “दुख एक व्यक्तिगत भावना होती है। जब किसी परिवार को अपने प्रिय को खोने के बाद शांति से शोक मनाने का मौका नहीं मिलता, तो यह अत्यंत दुखद है। चारों ओर कैमरे और मोबाइल होते हैं, लोग सेल्फी लेते हैं और वहां मौजूद अभिनेताओं की ओर इशारे करते हैं, जबकि उनमें से कई अपने करीबी को खोने का दर्द झेल रहे होते हैं।”

पृथ्वीराज सुकुमारन की पत्नी ने अंतिम संस्कार पर नाराजगी जताई

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हर पल बन गया तमाशा

उन्होंने आगे कहा कि क्या मृतक और उनके परिवार को थोड़ा सम्मान और शांति का हक नहीं है? आजकल जीवन का हर पल एक तमाशा बन गया है। उस परिवार के दर्द की कल्पना करना भी कठिन है, जो अपने प्रिय को अलविदा कहने की कोशिश कर रहा है। क्या हमें अपने व्यवहार पर सवाल नहीं उठाना चाहिए? क्या अंतिम संस्कार जैसे पलों को भी भीड़ में दिखाना आवश्यक है?