ग्वार के भाव में स्थिरता, किसानों की बिक्री में कमी

ग्वार के दामों में पिछले कुछ महीनों से स्थिरता बनी हुई है, जबकि किसानों की बिक्री में कमी आई है। मंडियों में ग्वार के दाम 4500 से 5000 रुपए प्रति क्विंटल के बीच हैं। जानें विभिन्न मंडियों में ग्वार के ताजा दाम और किसानों की स्थिति के बारे में। क्या भविष्य में दामों में बदलाव होगा? जानने के लिए पूरा लेख पढ़ें।
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ग्वार के भाव में स्थिरता, किसानों की बिक्री में कमी

ग्वार के भाव में स्थिरता


ग्वार के भाव: पिछले कुछ महीनों से ग्वार के दाम में स्थिरता बनी हुई है। हालांकि, जून के अंत में वायदा बाजार में थोड़ी हलचल देखी गई थी, लेकिन यह रुझान आगे नहीं बढ़ सका। उत्तर भारत के हरियाणा और राजस्थान में किसान ग्वार की खेती बड़े पैमाने पर करते हैं। हर फसल के मौसम में किसान इसके दामों का इंतजार करते हैं। वर्तमान में, ग्वार के दाम 4500 से 5000 रुपए प्रति क्विंटल के बीच बने हुए हैं। मंडियों से मिली जानकारी के अनुसार, ग्वार की कीमतें प्रतिदिन 50 से 100 रुपए के बीच उतार-चढ़ाव करती हैं। बीकानेर मंडी में ग्वार का उच्चतम भाव 5151 रुपए रहा है।


किसानों की बिक्री में कमी

किसानों की सक्रियता में कमी:

ग्वार के दामों में गिरावट के कारण किसान फसल बेचने में ज्यादा रुचि नहीं दिखा रहे हैं, जिससे मंडियों में माल की आवक में कमी आई है। भविष्य में दामों में बढ़ोतरी की संभावना पर कोई स्पष्टता नहीं है। बुवाई में कमी और मांग में बदलाव के आधार पर ही दामों में उतार-चढ़ाव का अनुमान लगाया जाता है। ग्वार के दामों में वृद्धि या कमी उसकी मांग और खपत पर निर्भर करती है। आज हम आपके लिए राजस्थान और हरियाणा की मंडियों से ताजा ग्वार के दाम लेकर आए हैं। नीचे दिए गए आंकड़े रुपए प्रति क्विंटल के अनुसार हैं।


ग्वार के दाम (5 जुलाई 2025) रुपए प्रति क्विंटल

मंडी नाम

ग्वार भाव
नोखा मंडी: 4300-4900
पीलीबंगा मंडी: 5011
आदमपुर मंडी: 4700-5070
नोहर मंडी: 5000-5130
टोंक मंडी: 4000-4300
गंगानगर मंडी: 4340-5008
ऐलनाबाद मंडी: 4600-4900
मेड़ता मंडी: 4600-4965
जैतसर मंडी: 4801-4971
कोटा मंडी: 4500 से 5100
सिरसा मंडी: 4400-4950
जयपुर मंडी: 5000-5075
बीकानेर मंडी: 5000-5151
नागौर मंडी: 4000-4850
संगरिया मंडी: 4200-4400


ग्वार के भाव में बदलाव

नोट: मंडियों में ग्वार के दाम आवक और मांग के अनुसार बदलते रहते हैं। कभी-कभी ग्वार की गुणवत्ता भी दामों में उतार-चढ़ाव का कारण बनती है।