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मिज़ोरम में बैराबी-सैरांग रेलवे लाइन का उद्घाटन, नई कनेक्टिविटी का युग शुरू

मिज़ोरम में बैराबी-सैरांग रेलवे लाइन का उद्घाटन एक ऐतिहासिक क्षण है, जो राज्य की राजधानी आइज़ोल को पहली बार राष्ट्रीय रेलवे मानचित्र पर लाएगा। यह परियोजना न केवल यात्रा के समय को कम करेगी, बल्कि व्यापार, पर्यटन और रोजगार के नए अवसर भी खोलेगी। केंद्रीय मंत्री अश्विनी वैष्णव ने इस परियोजना की प्रगति की सराहना की है, जिसमें 95 प्रतिशत कार्य पूरा हो चुका है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा इस रेलवे लाइन का औपचारिक उद्घाटन 13 सितंबर 2025 को किया जाएगा।
 

मिज़ोरम की ऐतिहासिक रेलवे परियोजना

मिज़ोरम एक महत्वपूर्ण ऐतिहासिक मील का पत्थर हासिल करने की तैयारी कर रहा है, क्योंकि बैराबी-सैरांग रेलवे लाइन लगभग पूरी हो चुकी है। यह परियोजना राज्य की राजधानी आइज़ोल को पहली बार भारत के राष्ट्रीय रेलवे मानचित्र पर लाएगी। 51.38 किलोमीटर लंबी इस रेलवे लाइन का उद्देश्य कनेक्टिविटी में सुधार करना, यात्रा के समय को कम करना और राज्य के निवासियों के लिए नए अवसर प्रदान करना है। यह मार्ग पूर्वोत्तर के कुछ सबसे कठिन इलाकों से होकर गुजरता है। इंजीनियरों ने 12 किलोमीटर से अधिक लंबी 48 सुरंगों और 142 पुलों का निर्माण किया है, जिसमें विभिन्न आकार की संरचनाएँ शामिल हैं।


केंद्रीय मंत्री का बयान

केंद्रीय मंत्री अश्विनी वैष्णव ने कहा कि मिज़ोरम के लिए रेलवे संपर्क का उद्घाटन कल सुबह प्रधानमंत्री द्वारा किया जाएगा। बैराबी-सैरांग परियोजना मिज़ोरम को रेलवे नेटवर्क से जोड़ने के लिए एक महत्वपूर्ण कदम है। इस परियोजना का निर्माण कई चुनौतियों के बीच किया गया है, जिसमें जटिल भूभाग और हिमालयी भूविज्ञान शामिल हैं। इस परियोजना में 51 किलोमीटर में फैली 45 सुरंगें और 45 पुल हैं, जो इसे अत्यधिक जटिल बनाते हैं। इनमें से एक पुल कुतुब मीनार से भी ऊँचा है।


परियोजना की प्रगति

इस परियोजना में निर्बाध परिवहन सुनिश्चित करने के लिए पाँच सड़क ओवरब्रिज और छह सड़क अंडरपास भी शामिल हैं। परियोजना की प्रगति उल्लेखनीय है, जिसमें लगभग 95 प्रतिशत भौतिक कार्य पूरा हो चुका है और 97 प्रतिशत धनराशि का उपयोग किया जा चुका है। मई 2025 में पूर्वोत्तर सीमांत रेलवे द्वारा एक सफल परीक्षण किया गया था, जिसके बाद जून में सुरक्षा निरीक्षण किया गया।


यात्री परिचालन की मंजूरी

रेलवे सुरक्षा आयुक्त ने यात्री परिचालन के लिए लाइन को मंज़ूरी दे दी है, और ट्रेनों को 90 किलोमीटर प्रति घंटे की गति से चलाने की अनुमति दी गई है। एक बार चालू होने पर, नया मार्ग गुवाहाटी-आइज़ोल की यात्रा को 14-18 घंटे की सड़क यात्रा से घटाकर ट्रेन से लगभग 12 घंटे कर देगा। इसके लाभ केवल यात्रा की सुविधा तक सीमित नहीं रहेंगे, बल्कि व्यापार, पर्यटन, शिक्षा, स्वास्थ्य सेवा और रोजगार को भी बढ़ावा मिलेगा।


प्रधानमंत्री का उद्घाटन

इस परियोजना का औपचारिक उद्घाटन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा 13 सितंबर 2025 को किया जाएगा, जो मिज़ोरम के आधुनिक इतिहास में एक महत्वपूर्ण क्षण होगा। इस अवसर पर, प्रधानमंत्री तीन नई एक्सप्रेस ट्रेनों को भी हरी झंडी दिखाएंगे। आइज़ोल अब राजधानी एक्सप्रेस के माध्यम से दिल्ली से सीधे जुड़ जाएगा, जिससे क्षेत्र में शैक्षिक, सांस्कृतिक और आर्थिक संबंध मजबूत होंगे।