महाभारत काल में पांडवों का खान-पान: शाकाहारी और मांसाहारी व्यंजन
पांडवों का खान-पान
महाभारत के समय पांडवों का आहार शाकाहारी और मांसाहारी दोनों प्रकार के खाद्य पदार्थों से भरा हुआ था। वे पूरी तरह से शाकाहारी नहीं थे, बल्कि वनवास के दौरान अपने भोजन में विविधता लाने के लिए विभिन्न प्रकार के व्यंजनों का सेवन करते थे। कभी-कभी पांडव खुद खाना बनाते थे, तो कभी द्रौपदी अपने हाथों से व्यंजन तैयार करती थीं।
पांडवों का पसंदीदा भोजन
- मांसाहारी भोजन:
वनवास के दौरान पांडव शिकार करते थे और हिरण, मुर्गी, मछली जैसे मांसाहारी खाद्य पदार्थों का आनंद लेते थे। विशेष रूप से हिरण का शिकार उनके भोजन का एक महत्वपूर्ण हिस्सा था, जो उन्हें स्वादिष्ट व्यंजन के रूप में मिलता था। मछलियाँ भी तालाबों और नदियों से पकड़ी जाती थीं। - शाकाहारी भोजन:
इसके साथ ही, वे फलों, जड़ों, अनाजों और दालों का भी सेवन करते थे। उनके आहार में जौ, चावल, गेहूं, बाजरा, उड़द और मूंग जैसी दालें शामिल थीं। दूध, दही और घी भी उनके नियमित भोजन का हिस्सा थे।
भीम के पसंदीदा व्यंजन
भीम को मांसाहारी व्यंजन, विशेष रूप से हिरण का मांस, बहुत पसंद था। इसके अलावा, वे खीर का भी शौक रखते थे। भीम को पांडवों में एक कुशल रसोइया माना जाता था और वे लोकप्रिय दक्षिण भारतीय व्यंजन अवियल के निर्माण से भी जुड़े हुए थे। अवियल इमली और नारियल की ग्रेवी में बनी सब्जियों से तैयार होती है। इसके साथ ही, भीम लड्डू भी प्रसिद्ध है, जो देसी घी और सूखे मेवे से बनता है और उनकी ताकत का प्रतीक माना जाता है।
पांडवों का खान-पान और सामाजिक रीति-रिवाज
पांडवों के भोजनों में शाकाहारी और मांसाहारी दोनों प्रकार के व्यंजन शामिल होते थे। राजसूर्य यज्ञ जैसे विशेष अवसरों पर मांसाहारी भोजन परोसा जाता था और त्योहारों पर शिकार किए गए मांस से दावत सजती थी। युधिष्ठिर के पास एक अक्षय पात्र था, जो उन्हें मनचाहा भरपूर भोजन प्रदान करता था, जिसमें मांसाहारी व्यंजन भी शामिल थे।
पांडवों ने क्षेत्रीय व्यंजन भी अपनाए
वनवास के दौरान, पांडव जहाँ भी रुके, वहां के स्थानीय व्यंजनों का भी आनंद लेते थे। उल्लेख मिलता है कि वे काबुली पुलाव और गुजराती कढ़ी जैसे व्यंजन भी खाते थे, जो उनकी विविध पाक-संस्कृति को दर्शाता है।
संक्षेप में
पांडवों का भोजन न केवल पारंपरिक भारतीय शाकाहारी व्यंजन था, बल्कि इसमें मांसाहारी खाद्य पदार्थ जैसे हिरण का मांस, मुर्गी और मछली भी शामिल थे। वनवास और युद्ध के दौरान, उन्होंने इन दोनों प्रकार के भोजन का सेवन किया। भीम की खास पसंद मांसाहारी व्यंजन, विशेष रूप से हिरण का मांस और खीर थी, और वे एक प्रतिभाशाली रसोइया भी थे।