एशिया कप 2025 में इन 3 भारतीय क्रिकेटरों का करियर खत्म होने की संभावना
एशिया कप 2025 की शुरुआत
एशिया कप 2025 का आयोजन 9 सितंबर से संयुक्त अरब अमीरात में होने जा रहा है। भारत की टीम 10 सितंबर को UAE के खिलाफ अपने अभियान की शुरुआत करेगी। इस टूर्नामेंट में भारत का मुकाबला अपने प्रतिद्वंदी पाकिस्तान से 14 सितंबर को होगा। अगले साल भारत और श्रीलंका में होने वाले टी20 वर्ल्ड कप को ध्यान में रखते हुए, इस बार एशिया कप भी टी20 प्रारूप में खेला जाएगा। हालांकि, टीम इंडिया के तीन खिलाड़ियों का टी20 करियर समाप्ति की ओर बढ़ता दिख रहा है, और संभावना है कि चयनकर्ता इन खिलाड़ियों को एशिया कप में नहीं चुनेंगे।
1. भुवनेश्वर कुमार
भुवनेश्वर कुमार, जो वर्तमान में टीम इंडिया से बाहर हैं, का अंतरराष्ट्रीय करियर अब समाप्ति की ओर है। उन्होंने अपना आखिरी टी20 अंतरराष्ट्रीय मैच 22 नवंबर 2022 को न्यूजीलैंड के खिलाफ खेला था। इसके बाद से उन्हें चयन समिति ने टीम से बाहर कर दिया है। टीम में मोहम्मद सिराज, अर्शदीप सिंह और जसप्रीत बुमराह जैसे तेज गेंदबाज मौजूद हैं, साथ ही हार्दिक पांड्या और नीतीश रेड्डी जैसे ऑलराउंडर भी हैं। ऐसे में भुवनेश्वर का एशिया कप 2025 में चयन होना असंभव प्रतीत होता है। उन्होंने भारत के लिए 87 टी20 अंतरराष्ट्रीय मैचों में 90 विकेट लिए हैं।
2. पृथ्वी शॉ
पृथ्वी शॉ को चयनकर्ता लंबे समय से नजरअंदाज कर रहे हैं, जिससे उनका एशिया कप 2025 की टीम में चयन होना मुश्किल लग रहा है। उनकी बल्लेबाजी में पूर्व ओपनर वीरेंद्र सहवाग और महान बल्लेबाज सचिन तेंदुलकर की झलक देखने को मिलती है। 25 वर्षीय पृथ्वी शॉ एक आक्रामक बल्लेबाज हैं, जो बिना किसी डर के रन बनाते हैं। उन्होंने भारत के लिए तीनों प्रारूपों में खेला है, लेकिन अब उनकी जगह सभी प्रारूपों में छिन गई है। उन्होंने 5 टेस्ट मैचों में 339 रन, 6 वनडे में 189 रन और 79 IPL मैचों में 1892 रन बनाए हैं।
3. हर्षल पटेल
हर्षल पटेल का आईपीएल में रिकॉर्ड शानदार है, लेकिन अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में उनका प्रदर्शन निराशाजनक रहा है। उन्होंने अपना आखिरी अंतरराष्ट्रीय मैच जनवरी 2023 में श्रीलंका के खिलाफ खेला था। इसके बाद से उन्हें चयनकर्ताओं ने मौका नहीं दिया। हर्षल ने आईपीएल में अच्छे प्रदर्शन के कारण टीम में जगह बनाई थी, लेकिन केवल 25 टी20 अंतरराष्ट्रीय मैचों में उन्होंने केवल 29 विकेट ही लिए हैं। लंबे समय से उन्हें चयनकर्ताओं द्वारा नजरअंदाज किया जा रहा है, जिससे उनके अंतरराष्ट्रीय करियर का अंत माना जा रहा है।