राहुल गांधी पर भाजपा का हमला: चुनाव आयोग को लेकर उठे सवाल
भाजपा नेताओं का राहुल गांधी पर आरोप
कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने चुनाव आयोग पर 'वोट चोरी' के गंभीर आरोप लगाए हैं, जिसके बाद वे भाजपा के निशाने पर आ गए हैं। केंद्रीय मंत्री भूपेन्द्र यादव ने कहा कि राहुल गांधी लंबे समय से एक एटम बम छोड़ने की बात कर रहे थे। उन्होंने यह भी कहा कि किसी मित्र ने उन्हें बताया कि राहुल उसी पेड़ को काटने का काम कर रहे हैं, जिस पर वे बैठे हैं। यादव ने यह भी कहा कि राहुल गांधी की भाषा का अहंकार चुनाव आयोग के कर्मचारियों के लिए था।
भाजपा नेताओं के सवाल
भूपेन्द्र यादव ने यह सवाल उठाया कि क्या विपक्ष के किसी नेता को भारत के अधिकारियों के खिलाफ ऐसी भाषा का प्रयोग करना चाहिए। उन्होंने कहा कि जब भी हमारे सशस्त्र बलों पर हमला होता है, राहुल गांधी ही सबसे पहले सामने आते हैं। क्या यह उचित है कि नेता प्रतिपक्ष देश की संवैधानिक संस्थाओं के कर्मचारियों के लिए ऐसी भाषा का इस्तेमाल करें? यादव ने यह भी कहा कि राहुल गांधी ने सुप्रीम कोर्ट की टिप्पणियों पर भी ऊंचा-नीचा बोलने से नहीं चूके।
संस्थाओं की स्वायत्तता पर जोर
भूपेन्द्र यादव ने कहा कि देश की सेना, चुनाव आयोग और संसद जैसी संस्थाएं स्वतंत्र और स्वायत्त हैं। हमें इन संस्थाओं के निर्णयों का सम्मान करना चाहिए, क्योंकि इन्हें संवैधानिक दर्जा प्राप्त है। उन्होंने राहुल गांधी के आरोपों का खंडन करते हुए कहा कि उन्होंने महाराष्ट्र में 1 करोड़ वोट बढ़ने का दावा किया, जबकि वास्तविकता यह है कि भारतीय चुनाव आयोग की वेबसाइट के अनुसार, 2024 में महाराष्ट्र विधानसभा में 9,71,41,289 वोटर थे।
राहुल गांधी के दावों का खंडन
यादव ने कहा कि लोकसभा चुनाव के समय 9,30,61,760 वोटर थे, जिससे यह स्पष्ट होता है कि केवल 40 लाख वोट बढ़े हैं, जबकि राहुल गांधी ने 1 करोड़ का दावा किया। उन्होंने कहा कि राहुल गांधी के दावों को 60% के मार्जिन से समझा जाना चाहिए। यादव ने यह भी कहा कि राहुल गांधी ने जो झूठा आख्यान बनाने की कोशिश की है, वह उनके अपने तथ्यों से ध्वस्त हो गया है। कांग्रेस पार्टी भारत की संवैधानिक संस्थाओं को नीचा दिखाने के लिए झूठे दावे कर रही है, लेकिन भारतीय संविधान मजबूत है और जनता ने बार-बार उनके झूठे दावों को नकारा है।