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रायबरेली में दलित व्यक्ति की हत्या: कांग्रेस ने की कड़ी निंदा

रायबरेली में 40 वर्षीय दलित व्यक्ति हरिओम वाल्मीकि की चोरी के संदेह में हुई मॉब लिंचिंग ने राजनीतिक हलचल पैदा कर दी है। कांग्रेस ने इसे मानवता और संविधान की हत्या करार दिया है। पुलिस ने इस मामले में नौ लोगों को गिरफ्तार किया है और जातिगत पहलू से इनकार करते हुए कार्रवाई का आश्वासन दिया है। घटना के बाद से कई संदिग्धों की पहचान की गई है, और पुलिस ने आगे की कार्रवाई की योजना बनाई है।
 

रायबरेली में हुई मॉब लिंचिंग की घटना

रायबरेली में 40 वर्षीय दलित व्यक्ति हरिओम वाल्मीकि की चोरी के संदेह में हुई मॉब लिंचिंग को कांग्रेस ने "मानवता और संविधान की हत्या" बताया है। पुलिस ने इस मामले में नौ लोगों को गिरफ्तार किया है और आगे की कार्रवाई का आश्वासन दिया है। जातिगत पहलू से इनकार करते हुए, पुलिस ने अफवाह फैलाने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की चेतावनी दी है।


ऊंचाहार क्षेत्र में एक दलित व्यक्ति की पीट-पीटकर हत्या के मामले में पुलिस ने चार और संदिग्धों को गिरफ्तार किया है। पुलिस अधीक्षक यशवीर सिंह ने कहा कि आरोपियों के खिलाफ गैंगस्टर अधिनियम और राष्ट्रीय सुरक्षा कानून (रासुका) के तहत सख्त कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने जातिगत रंग देने की कोशिशों के खिलाफ चेतावनी दी, यह बताते हुए कि आरोपियों को पीड़ित की जाति के बारे में जानकारी नहीं थी।


घटना 2 अक्टूबर की रात को हुई, जब ग्रामीणों ने हरिओम वाल्मीकि को चोरी के शक में पीट-पीटकर मार डाला। यह घटना जमुनापुर गांव में हुई, जहां स्थानीय लोगों ने हरिओम पर लाठी, डंडों और बेल्ट से हमला किया। यह घटना तब हुई जब गांव में यह अफवाह थी कि एक गिरोह चोरी के इरादे से ड्रोन का उपयोग कर रहा है।


पुलिस अधीक्षक ने बताया कि हरिओम मानसिक रूप से अस्थिर लग रहा था और अपनी बात नहीं रख पा रहा था। ग्रामीणों ने उसे चोर समझ लिया और उसकी पिटाई कर दी, जिससे उसकी मौत हो गई। अगली सुबह पुलिस को सूचित किया गया और शव को पोस्टमार्टम के लिए भेजा गया, जिसमें कई गंभीर चोटें पाई गईं।


कांग्रेस ने इस हत्या की निंदा करते हुए इसे मानवता और संविधान की हत्या करार दिया। कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे और पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने एक संयुक्त बयान में कहा कि भीड़ द्वारा हत्या, बुलडोजर अन्याय और भीड़तंत्र आज की भयावह पहचान बन गए हैं।


पुलिस ने घटना के तुरंत बाद पांच आरोपियों को गिरफ्तार किया था। उनके बयान और सीसीटीवी फुटेज के आधार पर मंगलवार को चार और लोगों को पकड़ा गया। इनमें से एक आरोपी शिव प्रसाद अग्रहरि था, जो घटना का गवाह था। अब तक कुल नौ लोग गिरफ्तार किए जा चुके हैं।


पुलिस ने वीडियो साक्ष्य के आधार पर 10 से 15 अन्य संदिग्धों की पहचान की है और जल्द ही और गिरफ्तारियों की संभावना है। पुलिस अधीक्षक ने कहा कि आरोपियों पर गैंगस्टर अधिनियम और राष्ट्रीय सुरक्षा कानून के तहत कार्रवाई की जाएगी।


उन्होंने कहा कि पीड़ित के बारे में जानकारी अज्ञात थी और इसमें शामिल लोग विभिन्न समुदायों से थे। पुलिस गलत सूचना फैलाने वालों के खिलाफ कार्रवाई करेगी। मृतक हरिओम फतेहपुर का निवासी था।


रायबरेली पुलिस की कई टीमें फतेहपुर पुलिस के साथ मिलकर संदिग्धों पर नजर रख रही हैं, जो अन्य राज्यों में भागने की कोशिश कर सकते हैं। कांग्रेस के उत्तर प्रदेश अध्यक्ष अजय राय ने हरिओम के परिवार से मुलाकात की और आरोप लगाया कि जब पीड़ित ने राहुल गांधी का नाम लिया, तब उसकी पिटाई की गई। उन्होंने कहा कि राहुल गांधी ने हरिओम के भाई से फोन पर बात की और हर संभव मदद का आश्वासन दिया।