भारत की सीमाओं पर बाड़बंदी: सुरक्षा को बढ़ावा देने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम
भारत की सीमा सुरक्षा में प्रगति
भारत ने सुरक्षा को सुदृढ़ करने और घुसपैठ को रोकने के लिए, भारत-पाकिस्तान अंतरराष्ट्रीय सीमा के 93 प्रतिशत से अधिक और भारत-बांग्लादेश सीमा के लगभग 79 प्रतिशत हिस्से पर भौतिक बाड़बंदी स्थापित कर दी है। गृह मंत्रालय ने मंगलवार को लोकसभा में यह जानकारी साझा की।
गृह मंत्रालय के आंकड़ों के अनुसार, 2,289.66 किलोमीटर लंबी भारत-पाकिस्तान अंतरराष्ट्रीय सीमा में से 93.25 प्रतिशत यानी 2135.136 किलोमीटर पर बाड़बंदी का कार्य पूरा हो चुका है।
बाड़बंदी की स्थिति
गृह राज्य मंत्री नित्यानंद राय द्वारा संसद के निचले सदन में प्रस्तुत आंकड़ों के अनुसार, शेष 154.524 किलोमीटर यानी 6.75 प्रतिशत सीमा पर बाड़बंदी का कार्य अभी बाकी है। इसी तरह, भारत-बांग्लादेश सीमा, जिसकी कुल लंबाई 4,096.70 किलोमीटर है, पर 3,239.92 किलोमीटर यानी 79.08 प्रतिशत हिस्से पर बाड़ लगाई गई है। शेष 856.778 किलोमीटर हिस्सा बिना बाड़ के है।
भारत-म्यांमार सीमा पर प्रगति
इसके अलावा, भारत-म्यांमार सीमा, जिसकी कुल लंबाई 1,643 किलोमीटर है, पर भी प्रगति हुई है। इस सीमा के 9.214 किलोमीटर हिस्से पर भौतिक बाड़ लगाने का कार्य पूरा हो चुका है। सरकार ने कहा है कि सीमा पर बाड़ लगाना घुसपैठ को रोकने और राष्ट्रीय सुरक्षा को बढ़ाने की उसकी रणनीति का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है।
भारत की भूमि सीमाएँ
भारत की कुल भूमि सीमा 15,106.7 किलोमीटर और तटरेखा 7,516.6 किलोमीटर है, जिसमें द्वीपीय क्षेत्र भी शामिल हैं। भारत सात पड़ोसी देशों के साथ अपनी भूमि सीमाएँ साझा करता है। पश्चिम में, भारत पाकिस्तान के साथ एक लंबी सीमा साझा करता है, जो जम्मू और कश्मीर, पंजाब, राजस्थान और गुजरात से होकर गुजरती है।
उत्तर और उत्तर-पूर्व में, भारत लद्दाख, हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड, सिक्किम और अरुणाचल प्रदेश के माध्यम से चीन के साथ एक संवेदनशील सीमा साझा करता है। इसके अलावा, भारत नेपाल के साथ एक खुली और मैत्रीपूर्ण सीमा भी साझा करता है, जिससे लोगों की निर्बाध आवाजाही संभव है। पूर्व में, भारत भूटान, बांग्लादेश और म्यांमार के साथ सीमाएँ साझा करता है।