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बिहार में एनडीए की जीत का विश्वास जताते मंत्री प्रेम कुमार

बिहार के मंत्री प्रेम कुमार ने एनडीए की संभावित जीत का भरोसा जताया है, दावा करते हुए कि गठबंधन 200 से अधिक सीटें जीत सकता है। उन्होंने कहा कि मतदाता एनडीए के विकास कार्यों से संतुष्ट हैं। वहीं, राजद नेता सुनील सिंह ने चुनाव अधिकारियों को चेतावनी दी है कि जनादेश के साथ छेड़छाड़ करने पर गंभीर परिणाम हो सकते हैं। कुमार ने सिंह की आलोचना करते हुए कहा कि किसी को भी कानून अपने हाथ में लेने का अधिकार नहीं है।
 

एनडीए की संभावित जीत पर मंत्री का विश्वास

बिहार के मंत्री प्रेम कुमार ने शुक्रवार को कहा कि उन्हें पूरा यकीन है कि एनडीए एक बार फिर से सरकार बनाएगी। उन्होंने यह भी दावा किया कि गठबंधन 200 से अधिक सीटें जीतने में सफल होगा। उनके अनुसार, मतदाता एनडीए के विकास कार्यों से संतुष्ट हैं, जिसके कारण उन्होंने इसका समर्थन किया। पटना में एक मीडिया चैनल से बातचीत करते हुए, प्रेम कुमार ने कहा कि बिहार के लोग बड़ी संख्या में मतदान के लिए आए हैं। उनका मानना है कि एनडीए सभी सीटों पर आगे रहेगा और राज्य में फिर से एनडीए की सरकार बनेगी।


कुमार ने यह भी कहा कि जनता एनडीए सरकार द्वारा किए गए विकास कार्यों से बहुत खुश है।


राजद नेता की आलोचना

प्रेम कुमार ने राजद नेता सुनील सिंह की भी आलोचना की, उन्हें 'हताशा में दिया गया बयान' बताया। उन्होंने कहा कि किसी को भी कानून अपने हाथ में लेने का अधिकार नहीं है। कुमार ने यह भी कहा कि चुनाव शांतिपूर्ण तरीके से संपन्न हुए हैं और ऐसे बयानों से राज्य में कलह का माहौल पैदा करने की कोशिश की जा रही है।


यह टिप्पणी राजद नेता सुनील सिंह द्वारा चुनाव अधिकारियों को चेतावनी देने के बाद आई है, जिसमें उन्होंने जनादेश के साथ छेड़छाड़ करने के प्रयासों के खिलाफ चेतावनी दी थी। सिंह ने कहा कि अगर ऐसा हुआ, तो बिहार की सड़कों पर भी नेपाल, बांग्लादेश और श्रीलंका की तरह दृश्य देखने को मिल सकते हैं।


सिंह की चेतावनी

सिंह ने एक मीडिया चैनल को बताया कि 2020 में कई राजद उम्मीदवारों को जबरन हराया गया था। उन्होंने मतगणना प्रक्रिया में शामिल अधिकारियों से अनुरोध किया कि यदि वे उस व्यक्ति को हराते हैं जिसे जनता ने चुना है, तो बिहार की सड़कों पर भी वही दृश्य देखने को मिल सकते हैं जो नेपाल, बांग्लादेश और श्रीलंका में देखे गए थे। उन्होंने चेतावनी दी कि जनता की इच्छा के खिलाफ कोई भी कार्य व्यापक जन आक्रोश को भड़का सकता है।