बिहार को आईटी हब बनाने की दिशा में कदम, मंत्री ने की निवेशकों को आकर्षित करने की अपील
बिहार के सूचना प्रावैधिकी मंत्री कृष्ण कुमार मंटू ने राज्य को पूर्वी भारत का आईटी हब बनाने के लिए निवेशकों को आकर्षित करने की आवश्यकता पर जोर दिया है। उन्होंने नई आईटी नीति-2024 के तहत विभिन्न प्रावधानों की जानकारी दी, जो निवेशकों को सुविधाएं प्रदान करती हैं। एसटीपीआई इकाई का दौरा करते हुए, मंत्री ने बताया कि राज्य तकनीकी प्रगति की दिशा में तेजी से बढ़ रहा है। जानें इस नीति के तहत मिलने वाले लाभ और अन्य महत्वपूर्ण जानकारी।
Sep 27, 2025, 19:27 IST
बिहार में आईटी क्षेत्र का विकास
सूचना प्रावैधिकी मंत्री कृष्ण कुमार मंटू ने कहा है कि बिहार को पूर्वी भारत का आईटी हब बनाने के लिए अधिक से अधिक निवेश को आकर्षित करना आवश्यक है। उन्होंने बताया कि बिहार की आईटी नीति-2024 में ऐसे सभी प्रावधान शामिल किए गए हैं, जो निवेशकों को आकर्षित करने में मदद करेंगे और राज्य को एक प्रमुख आईटी केंद्र के रूप में विकसित करेंगे। मंत्री ने शनिवार को पाटलिपुत्र कॉलोनी में नए सॉफ्टवेयर टेक्नोलॉजी पार्क ऑफ़ इंडिया (एसटीपीआई) इकाई का दौरा किया, जहां उन्होंने आईटी कंपनियों को उपलब्ध सुविधाओं का अवलोकन किया। इस अवसर पर आईटी, आईटीईएस और ईएसडीएम क्षेत्र के लगभग छह स्टार्टअप्स ने अपने कार्यों और नवाचारों की प्रस्तुति दी।
एसटीपीआई भवन एक लाख वर्गफीट में फैला हुआ है और इसमें 103 प्लग एंड प्ले सुविधाएं उपलब्ध हैं। भवन का निरीक्षण करने के बाद, मंत्री ने संवाददाताओं से कहा कि बिहार तकनीकी प्रगति की ओर तेजी से बढ़ रहा है। बिहार सरकार की आईटी नीति-2024 के तहत निवेशकों को पूंजी निवेश और रोजगार सृजन के लिए कई सुविधाएं प्रदान की जा रही हैं। उन्होंने बताया कि इस नीति के अंतर्गत, बिहार सरकार निवेशकों को पूंजी निवेश सब्सिडी, ब्याज सब्सिडी, और नेट स्टेट जीएसटी प्रतिपूर्ति जैसे लाभ प्रदान कर रही है। पूंजी निवेश सब्सिडी के तहत कुल पूंजी निवेश का 30 प्रतिशत (अधिकतम 30 करोड़ रुपये तक) या ब्याज अनुदान सब्सिडी के तहत 10 वार्षिक ब्याज अनुदान (परियोजना लागत का 50 प्रतिशत या अधिकतम 40 करोड़ रुपये तक) पांच वर्षों के लिए दिया जा रहा है। इसके अलावा, 50 प्रतिशत सब्सिडी लीज रेंटल राशि पर भी पांच वर्षों के लिए दी जाएगी।
मंत्री कृष्ण मंटू ने आगे बताया कि विद्युत् बिल का 25 प्रतिशत वार्षिक प्रतिपूर्ति पांच वर्षों के लिए दी जाएगी। साथ ही, रोजगार सृजन सब्सिडी के तहत ईएसआई और कर्मचारी भविष्य निधि के लिए नियोक्ता योगदान की 100 प्रतिशत राशि की प्रतिपूर्ति, जो अधिकतम पांच हजार रुपये प्रति माह प्रति कर्मचारी है, पांच वर्षों के लिए उपलब्ध कराई जाएगी। इस अवसर पर सूचना प्रावैधिकी विभाग के विशेष सचिव अरविन्द कुमार चौधरी, बेल्ट्रान के महानिदेशक (परियोजना) श्याम बिहारी सिंह, एसटीपीआई, पटना के अपर निदेशक राजीव कुमार और सी-डैक के निदेशक अभिनव दीक्षित भी उपस्थित थे।