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दिवाली पर सोने की खरीदारी में बदलाव: गहनों की जगह सिक्कों की बढ़ती मांग

दिवाली के त्योहार पर सोने की खरीदारी में एक नया ट्रेंड उभर रहा है। महंगाई के चलते लोग भारी गहनों की जगह छोटे सोने के सिक्कों को प्राथमिकता दे रहे हैं। इस साल सोने की कीमतें काफी बढ़ गई हैं, जिससे गहनों की बिक्री में कमी आई है। विशेषज्ञों का मानना है कि यह बदलाव निवेश के लिए भी फायदेमंद है। बड़े ज्वैलर्स इस सीजन को लेकर आशान्वित हैं और नए डिज़ाइन के साथ बाजार में उतरने की तैयारी कर रहे हैं। जानें इस बदलते ट्रेंड के पीछे की वजहें और बाजार की स्थिति के बारे में।
 

दिवाली पर सोने की खरीदारी का नया ट्रेंड

गहनों की बिक्री 3 साल में सबसे नीचे

भारत में दिवाली का त्योहार सोने की खरीदारी के बिना अधूरा माना जाता है, लेकिन इस बार स्थिति कुछ अलग है। सोने की कीमतों में भारी वृद्धि के कारण आम लोगों के लिए गहनों की खरीदारी करना कठिन हो गया है। हर साल नवरात्रि से लेकर दिवाली तक सोने की दुकानों में भीड़ रहती थी, लेकिन इस बार दुकानदारों के पास ग्राहक नहीं आ रहे हैं। इंडिया बुलियन एंड ज्वैलर्स एसोसिएशन के अनुसार, इस बार दिवाली से पहले तीन हफ्तों में गहनों की बिक्री में 27% की कमी आ सकती है।

गहनों की जगह सिक्कों की खरीदारी

महंगाई ने लोगों की जेब पर असर डाला है। अब जो लोग सोना खरीद रहे हैं, वे भारी गहनों के बजाय छोटे सिक्के या हल्के गहने पसंद कर रहे हैं। 2 से 5 ग्राम के सोने के सिक्कों की मांग में वृद्धि हुई है। लोग अब गहनों पर खर्च करने के बजाय शुद्ध सोने के सिक्के या बार खरीद रहे हैं, क्योंकि इनमें मेकिंग चार्ज नहीं लगता। विशेषज्ञों का मानना है कि यह एक समझदारी भरा कदम है, जिससे निवेश भी होता है और जेब पर बोझ भी नहीं पड़ता।

महंगे सोने का असर

इस साल सोने की कीमतें लगभग ₹1,14,000 प्रति 10 ग्राम तक पहुंच गई हैं, जो पिछले साल की तुलना में लगभग 50% अधिक है। इसका प्रभाव स्पष्ट है, रक्षाबंधन से ओणम तक की पहली खरीदारी में सोने की मांग में 28% की गिरावट आई है। ग्राहक अब 18 कैरेट सोने की ओर बढ़ रहे हैं, जो सस्ता होता है, जबकि पहले ज्यादातर 22 कैरेट खरीदा जाता था।

बड़े ब्रांड्स का आत्मविश्वास

हालांकि, बड़े ज्वैलर्स इस सीजन को लेकर निराश नहीं हैं। बाजार विशेषज्ञों के अनुसार, बड़े रिटेलर्स का आत्मविश्वास इस तथ्य पर आधारित है कि उनके पास कम लागत पर खरीदा गया पुराना स्टॉक मौजूद है। मेहता इक्विटीज लिमिटेड के उपाध्यक्ष (कमोडिटीज) राहुल कलांत्री का कहना है कि सोने की कीमतों में वृद्धि से उन्हें ‘इन्वेंट्री गेन’ होगा।

कल्याण ज्वैलर्स के कार्यकारी निदेशक रमेश कल्याणरमन ने कहा कि कंपनी इस त्योहारी सीजन को लेकर उत्साहित है। दिवाली से पहले कंपनी 15 नए शोरूम खोलने जा रही है और नए डिज़ाइन के कलेक्शन और प्रचार अभियान भी तैयार हैं। उन्होंने बताया कि सोने की कीमतें लगातार बढ़ रही हैं, इसलिए ग्राहक अब अधिक इंतज़ार नहीं कर रहे हैं। लोग मानते हैं कि आगे कीमतें और बढ़ सकती हैं, इसलिए वे अभी खरीदारी करना बेहतर समझ रहे हैं।

18 कैरेट सोने की बढ़ती मांग

कल्याणरमन के अनुसार, शहरी और उत्तर भारत के बाजारों में अब 18 कैरेट सोने की मांग बढ़ी है। पहले इसका उपयोग केवल हीरे के गहनों में होता था, लेकिन अब इसे पारंपरिक डिज़ाइनों में भी शामिल किया जा रहा है। वहीं, दक्षिण भारत में 22 कैरेट सोना अभी भी गहनों के लिए पहली पसंद बना हुआ है।

सेंको गोल्ड के एमडी और सीईओ सुवांकर सेन ने भी इसी विश्वास को व्यक्त किया है। उनका कहना है कि कंपनी को वित्त वर्ष 2026 की दूसरी छमाही में त्योहारी और शादी के सीजन में मजबूत बिक्री की उम्मीद है। हालांकि सोने की कीमतें ऊंची हैं, फिर भी वे इस साल 18-20% तक की बिक्री वृद्धि को लेकर आश्वस्त हैं।