दिल्ली हाई कोर्ट ने सोनू पंजाबन की मेडिकल स्थिति की जांच का आदेश दिया
सोनू पंजाबन की सजा का निलंबन
नई दिल्ली: दिल्ली उच्च न्यायालय ने दिल्ली पुलिस को सोनू पंजाबन, जिनका असली नाम गीता अरोड़ा है, की वर्तमान स्वास्थ्य स्थिति की जानकारी जुटाने का निर्देश दिया है। सोनू ने गंभीर बीमारी का हवाला देते हुए अपनी सजा के अंतरिम निलंबन को बढ़ाने की मांग की है। वह पहले दिल्ली-एनसीआर में एक सेक्स रैकेट की प्रमुख रही हैं और 2020 में एक नाबालिग को वेश्यावृत्ति के लिए मजबूर करने के मामले में 24 साल की सजा सुनाई गई थी। उनकी अपील उच्च न्यायालय में लंबित है।
दिल्ली उच्च न्यायालय के न्यायाधीश रजनीश कुमार गुप्ता की अवकाश पीठ ने इस मामले में दिल्ली पुलिस को नोटिस जारी किया है, जिसमें 60 दिनों के लिए सजा के अंतरिम निलंबन की मांग की गई है। सोनू के वकील ने अदालत में कहा कि वह मानव पेपिलोमावायरस (एचपीवी) से ग्रसित हैं और साकेत के एक अस्पताल में भर्ती हैं।
कोर्ट में पेश की गई दलीलें
अवकाश जज ने यह भी बताया कि 6 जून के आदेश के अनुसार, सोनू को 21 जून को शाम 5 बजे या उससे पहले संबंधित जेल अधीक्षक के सामने आत्मसमर्पण करना था। लेकिन वकील ने कहा कि उनकी स्वास्थ्य स्थिति के कारण आत्मसमर्पण करना संभव नहीं है, क्योंकि उन्हें एक संक्रामक बीमारी का तत्काल इलाज चाहिए।
नई स्थिति रिपोर्ट की आवश्यकता
वहीं, पुलिस ने अंतरिम जमानत बढ़ाने के आवेदन का विरोध किया और कहा कि सोनू को पहले ही पर्याप्त समय दिया जा चुका है। दोनों पक्षों की सुनवाई के बाद, अदालत ने कहा कि सोनू की स्वास्थ्य स्थिति और बीमारी की गंभीरता को ध्यान में रखते हुए, दिल्ली पुलिस को उनकी मौजूदा मेडिकल स्थिति की पुष्टि करने और एक नई स्थिति रिपोर्ट पेश करने का निर्देश दिया गया है। अदालत ने कहा कि तब तक, सोनू की सजा का अंतरिम निलंबन पहले की शर्तों पर जारी रहेगा। मामले की अगली सुनवाई 27 जून को होगी।