दिल्ली के लाल किले में कार बम धमाका: जांच में नए खुलासे
दिल्ली के लाल किले में धमाका
दिल्ली के लाल किला क्षेत्र में हुए भयानक कार बम धमाके ने पूरे देश को झकझोर दिया है। इस घटना में 12 लोगों की जान चली गई, और अब जांच एजेंसियां मामले की गहराई में जा रही हैं। हाल ही में पता चला है कि लगभग आठ संदिग्ध एक बड़े आतंकी हमले की योजना बना रहे थे।
संदिग्धों की योजना और IED निर्माण
प्रारंभिक जांच से यह स्पष्ट हुआ है कि आरोपी जोड़ों में घूम रहे थे और उनके पास कई घरेलू तरीके से बनाए गए विस्फोटक उपकरण (IEDs) थे। इनका उद्देश्य एक साथ कई स्थानों पर धमाके करना था। संदिग्धों में कुछ ऐसे नाम शामिल हैं जो पहले से ही आतंकी मामलों में जुड़े हुए हैं, जैसे डॉ. मुजम्मिल, डॉ. आदिल, डॉ. उमर और शाहीन शाहिद।
पुलिस ने रोकी बड़ी साजिश
दिल्ली पुलिस ने एक गंभीर आतंकी योजना को विफल कर दिया है, जिसका लक्ष्य देश के विभिन्न शहरों में लगातार धमाके करना था। जांच में यह सामने आया कि आरोपियों ने लगभग 20 लाख रुपये जुटाए थे, जो उमर को 'ऑपरेशनल खर्च' के लिए दिए गए थे।
IED बनाने के लिए खाद की खरीद
करीब 3 लाख रुपये खर्च कर गुरुग्राम, नूंह और आसपास के क्षेत्रों से 20 क्विंटल खाद खरीदी गई थी, जिसका उपयोग IED बनाने में किया जाना था। जांचकर्ताओं ने यह भी पाया कि उमर ने 'सिग्नल' ऐप पर एक गुप्त समूह बनाया था, ताकि सभी गतिविधियों को सुरक्षित तरीके से संचालित किया जा सके।
डॉ. मुजम्मिल का ISIS से संबंध
एजेंसियों के अनुसार, डॉ. मुजम्मिल 2021 से 2022 के बीच अंसर गजवात-उल-हिंद से प्रभावित हुआ था, जो ISIS का स्थानीय शाखा है। मुजम्मिल की इस नेटवर्क से मुलाकात 'इर्फान उर्फ मौलवी' के माध्यम से हुई।
धमाकों के लिए गाड़ियों की तैयारी
एजेंसियां यह भी जांच रही हैं कि क्या धमाकों के लिए अलग-अलग गाड़ियां तैयार की जा रही थीं। i20 और इकोस्पोर्ट के मामले में पता चला कि संदिग्ध दो और पुरानी गाड़ियां तैयार करने की योजना बना रहे थे।
कार बम धमाके का मुख्य आरोपी
दिल्ली पुलिस ने पुष्टि की है कि कार बम धमाके को अंजाम देने वाला व्यक्ति डॉ. उमर उन नबी था। फॉरेंसिक DNA परीक्षण में उसकी पहचान उसकी मां के DNA से मेल खाने के बाद की गई।
जांच में मिली सफलता
सूत्रों के अनुसार, उमर की पहचान से जांच में महत्वपूर्ण सफलता मिली है। अब पुलिस कॉल रिकॉर्ड, CCTV फुटेज और गाड़ी से मिली चीजों को जोड़ने का प्रयास कर रही है। दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल और केंद्रीय एजेंसियां मिलकर पूरे नेटवर्क को सुलझाने में जुटी हैं।