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तेलंगाना के मुख्यमंत्री ने बिहार में मतदाता अधिकार यात्रा में भाग लिया

तेलंगाना के मुख्यमंत्री ए रेवंत रेड्डी ने बिहार में 'मतदाता अधिकार यात्रा' में भाग लिया, जिसका उद्देश्य राहुल गांधी के अभियान का समर्थन करना था। इस यात्रा के दौरान भाजपा और प्रशांत किशोर ने कांग्रेस पर तीखे हमले किए। रेवंत रेड्डी ने अपने डीएनए और केसीआर के डीएनए के बीच तुलना की, जिससे राजनीतिक विवाद और बढ़ गया। जानें इस यात्रा के पीछे की राजनीति और प्रतिक्रियाएँ।
 

राजनीतिक विवादों के बीच यात्रा

तेलंगाना के मुख्यमंत्री ए रेवंत रेड्डी और उनके मंत्रिमंडल के सदस्य बिहार में 'मतदाता अधिकार यात्रा' में शामिल हुए। इस यात्रा का उद्देश्य लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी द्वारा मतदाता सूची में गड़बड़ियों के खिलाफ चलाए जा रहे अभियान का समर्थन करना था। रेवंत रेड्डी के बिहार आगमन पर राजनीतिक हलचल तेज हो गई है। भाजपा और प्रशांत किशोर ने कांग्रेस और महागठबंधन पर तीखे हमले किए हैं। केंद्रीय मंत्री नित्यानंद राय ने कहा कि राहुल गांधी और प्रियंका गांधी बिहार में हैं, और वे तेजस्वी यादव का समर्थन करने आए हैं।


भाजपा और प्रशांत किशोर की प्रतिक्रिया

भाजपा के एक नेता ने कहा कि तेजस्वी यादव ने ऐसे नेताओं को आमंत्रित किया है जिन्होंने बिहार और उसके लोगों के डीएनए पर सवाल उठाया है। उन्होंने चेतावनी दी कि बिहार की जनता उन्हें सबक सिखाएगी और 2025 के विधानसभा चुनाव में उनका सफाया होगा। जन सुराज के संस्थापक प्रशांत किशोर ने रेवंत रेड्डी पर सवाल उठाते हुए कहा कि वह बिहार के लिए अपमानजनक भाषा का प्रयोग करते हैं।


रेवंत रेड्डी का बयान

प्रशांत किशोर ने यह भी कहा कि अगर रेवंत रेड्डी बिहार के किसी गांव में जाते हैं, तो लोग उन्हें लाठी लेकर दौड़ाएंगे। उन्होंने यह भी कहा कि राहुल गांधी का रेवंत रेड्डी को अपने मंच पर बुलाना उनकी मानसिकता को दर्शाता है। रेवंत रेड्डी ने संवाददाताओं से कहा था कि उनके पूर्ववर्ती, तेलंगाना के पहले मुख्यमंत्री के चंद्रशेखर राव (केसीआर) का डीएनए बिहार से जुड़ा है, जिससे यह संकेत मिलता है कि वह केसीआर से बेहतर विकल्प हैं।


डीएनए पर विवाद

रेवंत रेड्डी ने कहा कि उनका डीएनए तेलंगाना है, जबकि केसीआर का डीएनए बिहार से संबंधित है। उन्होंने यह भी कहा कि तेलंगाना का डीएनए बिहार के डीएनए से बेहतर है।