घर में वास्तु दोष और महिलाओं की सेहत: जानें कैसे बचें
महिलाओं की सेहत पर वास्तु दोष का प्रभाव
घर में वास्तु दोष होने से कई समस्याएं उत्पन्न हो सकती हैं, जैसे आर्थिक तंगी, दुर्भाग्य, प्रगति में रुकावट और स्वास्थ्य में गिरावट। आज हम उन वास्तु दोषों पर चर्चा करेंगे जो महिलाओं के स्वास्थ्य को प्रभावित करते हैं। बहुत से लोग नहीं जानते कि कुछ विशेष कार्य घर में ऐसे दोष उत्पन्न कर सकते हैं, जो महिलाओं के लिए हानिकारक होते हैं। इन दोषों का नकारात्मक प्रभाव न केवल महिलाओं की सेहत पर पड़ता है, बल्कि यह वैवाहिक जीवन को भी कमजोर कर सकता है। इस लेख में, हम आपको इन दोषों से बचने के उपाय बताएंगे।
दक्षिण दिशा में बोरिंग से बचें
यदि आपके घर में बोरिंग दक्षिण दिशा में है, तो यह एक बड़ा वास्तु दोष उत्पन्न करता है। इस दिशा में बोरिंग होने से महिलाओं की सेहत पर नकारात्मक प्रभाव पड़ता है। इसलिए, इस दिशा में बोरिंग करवाने से बचें, अन्यथा स्वास्थ्य समस्याएं हो सकती हैं।
दक्षिण दिशा में खाना बनाना न करें
महिलाओं को दक्षिण दिशा की ओर मुंह करके खाना नहीं बनाना चाहिए। ऐसा करने से सर्वाइकल, हड्डियों में दर्द और कमर दर्द जैसी समस्याएं हो सकती हैं। इसके अलावा, खाना बनाते समय आपकी पीठ दरवाजे की ओर नहीं होनी चाहिए, वरना आपको कमर और कंधे में दर्द हो सकता है।
शौचालय की दिशा का ध्यान रखें
उत्तर पूर्व दिशा में शौचालय का होना एक बड़ा वास्तु दोष है। यह दिशा देवताओं की होती है, और यहां शौचालय बनाना अशुद्धता लाता है, जो महिलाओं को संतान सुख से वंचित कर सकता है। इसके अलावा, इससे घर में झगड़े भी बढ़ सकते हैं।
बेडरूम की दिशा का महत्व
पति-पत्नी का बेडरूम उत्तर पूर्व दिशा में नहीं होना चाहिए। ऐसा होने से संतान सुख में बाधा आ सकती है और रिश्तों में भी खटास आ सकती है। इसलिए इस दिशा का विशेष ध्यान रखें।
अन्य महत्वपूर्ण बातें
वास्तु के अनुसार, घर की दक्षिण और दक्षिण पश्चिम दिशा का खुला नहीं होना चाहिए। वहीं, उत्तर और उत्तर पूर्व दिशा के कोने बंद नहीं होने चाहिए। ऐसा होने पर बीमारियों और खर्चों में वृद्धि होती है।
इन बातों का ध्यान रखना आवश्यक है। यदि आप इन्हें नजरअंदाज करते हैं, तो आपको वास्तु दोष का सामना करना पड़ सकता है, जो आपकी पत्नी या घर की अन्य महिलाओं की सेहत के लिए हानिकारक हो सकता है।