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गुरु ग्रह की उल्टी चाल: इन 3 राशियों के लिए लाएगी खुशियों की बहार

गुरु ग्रह की उल्टी चाल से तीन राशियों के लिए खुशियों की बहार आने वाली है। मिथुन, तुला और कन्या राशि के जातकों को नौकरी में प्रमोशन, व्यापार में लाभ और आर्थिक स्थिति में सुधार के संकेत मिल रहे हैं। जानें इन राशियों पर गुरु के वक्री होने का क्या प्रभाव पड़ेगा और कैसे यह अवधि उनके जीवन में सकारात्मक बदलाव लाएगी।
 

गुरु ग्रह का गोचर 2025

गुरु ग्रह गोचर 2025Image Credit source: AI


गुरु बृहस्पति की उल्टी चाल: वैदिक ज्योतिष में बृहस्पति को गुरु, देवताओं का आचार्य और समृद्धि का प्रतीक माना जाता है। जब यह ग्रह किसी पर मेहरबान होता है, तो उसके जीवन में खुशहाली और उन्नति के द्वार खुल जाते हैं। इसलिए, गुरु की चाल में होने वाला हर परिवर्तन मानव जीवन को गहराई से प्रभावित करता है। आगामी ज्योतिषीय घटनाओं के अनुसार, बृहस्पति जल्द ही एक महत्वपूर्ण राशि परिवर्तन करने वाले हैं।

साल के अंत में, गुरु मिथुन राशि में प्रवेश करते हुए वक्री (उल्टी चाल) होंगे। यह वक्री होना कुछ राशियों के लिए वरदान साबित होगा। ज्योतिष गणना के अनुसार, तीन राशियां ऐसी हैं जिनकी किस्मत गुरु की इस उल्टी चाल से बदल सकती है। इन्हें नौकरी में प्रमोशन, पद की प्राप्ति और व्यापार में बड़ा लाभ मिलने की संभावना है। आइए जानते हैं वे कौन सी तीन भाग्यशाली राशियां हैं और उन पर गुरु के वक्री होने का क्या प्रभाव पड़ेगा।


गुरु बृहस्पति की चाल से चमकेगी इन 3 राशि वालों की किस्मत!

मिथुन राशि (Gemini)

गुरु का वक्री होना आपके लिए सबसे शुभ साबित होगा क्योंकि गुरु आपकी राशि में वक्री होने जा रहे हैं।

नौकरी और करियर: नौकरीपेशा लोगों को प्रमोशन और पद-प्रतिष्ठा मिल सकती है। कार्यस्थल पर आपके काम की सराहना होगी और उच्चाधिकारियों का सहयोग प्राप्त होगा।

व्यापार और धन: व्यापारियों के लिए यह समय अत्यंत शुभ रहेगा। व्यापार में विस्तार होगा और निवेश से बड़ा लाभ मिलने के संकेत हैं। आर्थिक स्थिति में मजबूती आएगी और धन संचय करने में सफलता मिलेगी।

शिक्षा और ज्ञान: छात्रों को शिक्षा के क्षेत्र में बड़ी सफलता मिल सकती है। अध्यात्म और ज्योतिष में रुचि बढ़ेगी.


तुला राशि (Libra)

तुला राशि के जातकों के लिए गुरु का वक्री होना भाग्य में बड़ा उछाल लाएगा।

भाग्य का साथ: गुरु के प्रभाव से आपको भाग्य का पूरा साथ मिलेगा, जिससे आपके रुके हुए काम बनने लगेंगे। लम्बे समय से अटकी योजनाएं अब सफलतापूर्वक पूरी होंगी।

करियर और विदेश यात्रा: नौकरीपेशा लोगों को पदोन्नति के साथ इंक्रीमेंट मिल सकता है। जो लोग विदेश से जुड़े व्यापार या नौकरी करते हैं, उनके लिए बंपर लाभ के योग बन रहे हैं।

आर्थिक लाभ: आपकी आमदनी में वृद्धि होगी। अचानक धन लाभ के योग भी बन सकते हैं। आध्यात्मिक कार्यों में आपकी रुचि बढ़ेगी, जिससे मानसिक शांति मिलेगी.


कन्या राशि (Virgo)

कन्या राशि वालों के लिए गुरु का वक्री होना उनके कर्म और कार्यक्षेत्र में अत्यंत शुभ परिणाम लाएगा।

कार्यक्षेत्र में सफलता: गुरु आपकी राशि के कर्म भाव में वक्री होंगे। इससे आपको अपने कार्यक्षेत्र में बड़ी सफलता मिलेगी। नई नौकरी के अवसर प्राप्त होंगे या वर्तमान नौकरी में बेहतर स्थिति मिलेगी।

व्यापार में उन्नति: व्यापारियों के लिए यह समय नई साझेदारियों और मुनाफे में वृद्धि का संकेत दे रहा है। आपके व्यापारिक निर्णय सटीक साबित होंगे।

मान-सम्मान: समाज में आपका मान-सम्मान बढ़ेगा और सामाजिक दायरा विस्तृत होगा। पिता और गुरुजनों का सहयोग प्राप्त होगा, जो आपके जीवन में उन्नति का मार्ग प्रशस्त करेगा.


निष्कर्ष

ज्योतिष के अनुसार, गुरु का मिथुन राशि में वक्री होना इन तीनों राशियों के लिए ‘राजयोग’ के समान फल देने वाला सिद्ध हो सकता है। यह अवधि इन जातकों को करियर, व्यापार और आर्थिक स्थिति तीनों मोर्चों पर उत्कृष्ट लाभ दिलाएगी।